राजस्थान: अलवर में गो-तस्करी के शक में अकबर नाम के शख्स की पीट-पीटकर हत्या, पुलिस मामले की जांच में जुटी

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भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) शासित राज्य राजस्थान के अलवर जिले में एक बार फिर से गो-तस्करी के शक में एक व्यक्ति की पीट-पीटकर हत्या करने का मामला सामने आया है। इस घटना में जिस व्यक्ति को मारा गया है उसकी पहचान अकबर के रूप में हुई है।

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मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक बताया जा रहा है, मृतक दो गाय लेकर अपने साथ कही जा रहा था। तभी कुछ लोगों ने गोतस्करी का आरोप लगाकर पीड़ित को पीटना शुरू कर दिया, जिससे उसकी मौत हो गई। फिलहाल, पुलिस ने इस मामले की जांच शुरू कर दी है लेकिन अभी किसी की गिरफ्तारी नहीं हुई है।

समाचार एजेंसी ANI के मुताबिक, यह मामला अलवर जिले के रामगढ़ इलाके के गांव लल्लावंडी का है। जहां शुक्रवार(20 जुलाई) की रात स्थानीय लोगों ने अकबर नाम के एक शख्स को गो-तस्कर बताकर पीटना शुरू कर दिया, जिससे उसकी मौत हो गई। पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है।

वहीं, इस मामले में ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) के अध्यक्ष और हैदराबाद से सांसद असदुद्दीन ओवैसी ने प्रतिक्रिया देकर मोदी सरकार पर प्रहार किया है। उन्होंने कहा कि, ‘गाय को संविधान के अनुच्छेद 21 के तहत जीने का नैतिक अधिकार है और एक मुस्लिम को मारा जा सकता है क्योंकि उनके ‘जीने’ का नैतिक अधिकार नहीं है।’

असदुद्दीन ओवैसी ने इस घटना पर ट्वीट करते हुए लिखा, ‘गाय को संविधान के अनुच्छेद 21 के तहत जीने का नैतिक अधिकार है और एक मुस्लिम को मारा जा सकता है क्योंकि उनके ‘जीने’ का नैतिक अधिकार नहीं है। मोदी शासन के चार साल- लिंच राज।’

एनडीटीवी की रिपोर्ट के मुताबिक, अलवर के एएसपी अनिल बैजल ने कहा कि अभी तक यह स्पष्ट नहीं है कि वे लोग गो तस्कर थे। शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है। हम लोग दोषियों को शिनाख्त करने की कोशिश कर रहे हैं और जल्द ही उनकी गिरफ्तारी होगी।

बता दें कि गोरक्षा के नाम पर ‘भीड़तंत्र’ की यह कार्रवाई ऐसे समय में हुई है जब पीएम मोदी ने कल ही लोकसभा में अविश्वास प्रस्ताव पर चर्चा के दौरान पीट-पीटकर हत्या (लिंचिंग) की घटना पर कहा था कि इसे स्वीकार नहीं किया जा सकता है। राज्य सरकारें ऐसे मामलों में कड़ी कार्रवाई करे।

बता दें कि, गोरक्षा के नाम पर मौत का यह मामला सुप्रीम कोर्ट के आदेश के महज चार दिन बाद आया है, जब सुप्रीम कोर्ट ने चार हफ्ते में केंद्र और राज्यों को लागू करने के आदेश दिए हैं। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कोई नागरिक अपने हाथ में कानून नहीं ले सकता, ये राज्य सरकारों का फर्ज है कि वो कानून व्यस्था बनाये रखें। कोर्ट ने कहा कि संसद इसके लिए कानून बनाए, जिसके भीड़ द्वारा हत्या के लिए सजा का प्रावधान हो।

लव जेहाद के नाम पर 48 वर्षीय मुस्लिम मजदूर मोहम्मद अफराजुल की हत्या

बता दें कि, कुछ दिनों पहले ही राजस्थान के राजसमंद इलाके में पश्चिम बंगाल के मालदा के रहने वाले 48 वर्षीय मुस्लिम मजदूर मोहम्मद अफराजुल की ‘लव जेहाद’ का बदला लेने के नाम पर शंभूलाल रैगर ने नृशंस हत्या और शव को मिट्टी का तेल डालकर जला दिया था। इस घटना का उसने वीडियो भी बनाया था। इस दर्दनाक और निर्मम वीडियो के सामने आने के बाद देश में हड़कंप मच गया और आनन-फानन में पुलिस ने शंभूलाल को गिरफ्तार कर लिया था।

फिलहाल, शंभूलाल रैगर इस समय जोधपुर की जेल में बंद है और कुछ दिनों पहले ही आरोपी शंभूलाल रैगर ने जेल से विडियो जारी किया था। वीडियो में उसने अपने साथ जेल में बंद पश्चिम बंगाल के कैदी से जान को खतरा बताया था, जिसके बाद जेल अधीक्षक ने शंभू को दूसरे बैरक में कर दिया।

शंभूालाल रैगर ने वीडियो में पीएम मोदी को महापुरुष बताते हुए जमकर तारीफ की थी, कहा था कि उनके आऩे से देश में एकता की लहर है, मगर कुछ ताकतें इसे तोड़ने में जुटीं हैं, वहीं पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी पर निशाना साधते हुए कहा था कि वे वोटबैंक के लिए देश और धर्म का विनाश न करें।

मुस्लिम शख्स की पीट-पीटकर हत्या करने वाले दोषियों का केंद्रीय मंत्री जयंत सिन्हा ने किया था स्वागत

बता दें कि अभी हाल ही में केंद्रीय नागरिक उड्डयन राज्य मंत्री जयंत सिन्हा ने झारखंड के रामगढ़ में पिछले साल 29 जून को कथित तौर पर गोमांस का कारोबार करने के आरोप में मांस कारोबारी अलीमुद्दीन अंसारी नाम के एक मुस्लिम शख्स की पीट-पीटकर हत्या मामले के दोषियों का जेल से बाहर आने पर स्वागत किया था।

वहीं, चौतरफा आलोचनाओं से घिरने के बाद केंद्रीय मंत्री जयंत सिन्हा ने इस मामले पर खेद जताया था। जयंत ने 11 जुलाई को कहा था कि अगर मेरे काम से गलत संदेश गया है तो मैं खेद जताता हूं।

भीड़ द्वारा पहलू खान की पीट-पीटकर हत्या

बता दें कि अलवर में पिछले दो वर्षों के दौरान गोरक्षा के नाम पर इससे पहले कई बार हिंसा हो चुकी है।  गौरतलब है कि इससे पहले पिछले साल 2017 में अलवर में ही 55 साल के पहलू खान की भीड़ ने पीट-पीटकर हत्या कर दी थी। जिस वक्त पहलू पर हमला हुआ उस वक्त वह राजस्थान में गाय खरीदने के बाद हरियाणा जा रहे थे।

डेयरी बिजनस करने वाले पहलू खान की हमले के 2 दिन बाद इलाज के दौरान मौत हो गई थी। भीड़ ने उन्हें पशु तस्कर समझकर हमला किया था। इस हत्याकांड के बाद देशभर में जबरदस्त आक्रोश फैला था।

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