कानपुर मुठभेड़ का मुख्य आरोपी गैंगस्टर विकास दुबे की गिरफ्तारी थी फिक्स सरेंडर? प्रियंका गांधी और अखिलेश यादव ने दागे सवाल

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उत्तर प्रदेश के कानपुर में आठ पुलिसकर्मियों की हत्या के मुख्य आरोपी गैंगस्टर विकास दुबे की गिरफ्तारी के साथ ही सवाल उठने भी शुरू हो गए हैं। एक ओर पुलिस इसे गिरफ्तारी बता रही है तो वहीं दूसरी ओर विपक्षी दल इसे फिक्स सरेंडर कह रहे हैं। कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी और समाजवादी पार्टी (सपा) के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने भी विकास दुबे की गिरफ्तारी पर सवाल उठाए हैं। वहीं, सोशल मीडिया पर भी गिरफ्तारी को लेकर संदेह जाहिर किया जा रहा है।

कानपुर

कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने कानपुर में आठ पुलिसकर्मियों की हत्या के मामले में उत्तर प्रदेश सरकार पर विफल रहने का आरोप लगाते हुए गुरुवार को कहा कि इस प्रकरण की सीबीआई जांच होनी चाहिए। उन्होंने मामले के मुख्य आरोपी विकास दुबे की गिरफ्तारी को लेकर दावा किया कि उसका उज्जैन तक पहुंचना मिलीभगत की ओर इशारा करता है।

कांग्रेस की उत्तर प्रदेश प्रभारी प्रियंका ने ट्वीट किया, ‘‘कानपुर के जघन्य हत्याकांड में उप्र सरकार को जिस मुस्तैदी से काम करना चाहिए था, उसमें वह पूरी तरह विफल साबित हुई। अलर्ट के बावजूद आरोपी का उज्जैन तक पहुंचना, न सिर्फ सुरक्षा के दावों की पोल खोलता है बल्कि मिलीभगत की ओर इशारा करता है।’’

उन्होंने दावा किया, ‘‘तीन महीने पुराने पत्र पर ‘नो एक्शन’ और कुख्यात अपराधियों की सूची में ‘विकास’ का नाम न होना बताता है कि इस मामले के तार दूर तक जुड़े हैं।’’ प्रियंका ने कहा, ‘‘उप्र सरकार को मामले की सीबीआई जांच करा सभी तथ्यों और संरक्षण देने से जुड़े संबंधों को जगज़ाहिर करना चाहिए।’’

उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और समाजवादी पार्टी (सपा) के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने अपने ट्वीट में कहा, “ख़बर आ रही है कि ‘कानपुर-काण्ड’ का मुख्य अपराधी पुलिस की हिरासत में है। अगर ये सच है तो सरकार साफ़ करे कि ये आत्मसमर्पण है या गिरफ़्तारी। साथ ही उसके मोबाइल की CDR सार्वजनिक करे जिससे सच्ची मिलीभगत का भंडाफोड़ हो सके।”

कानपुर शूटआउट में शहीद हुए सीओ देवेंद्र मिश्रा के परिजनों ने भी विकास दुबे की नाटकीय गिरफ्तारी पर सवाल उठाए। सीओ के रिश्तेदार कमलकांत ने कहा, ‘कई अपराधी जेल से बादशाहत चला रहे हैं। 12 घंटे पहले विकास फरीदाबाद में था और तुरंत वह उज्जैन पहुंच गया। सुनियोजित तरीके से उसका समर्पण कराया गया। कौन सी पुलिस गिरफ्तारी के लिए मीडिया को लेकर जाती है।’

गौरतलब है कि, गैंगस्टर विकास दुबे ने पिछले शुक्रवार को कानपुर के चौबेपुर में आठ पुलिसकर्मियों की गोली मारकर हत्या कर दी थी। इसके बाद से ही विकास दुबे कानपुर पुलिस के लिए मोस्ट वॉन्टेड की लिस्ट में शुमार है। विकास दुबे इस नरसंहार का एक नामजद आरोपी था। उसकी तलाश कई राज्यों की पुलिस कर रही थी। विकास दुबे लगातार पुलिस को चकमा दे रहा था।

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