कर्नाटक में एक के बाद एक कई विधायकों के इस्तीफे करने से संकट में घिरी कांग्रेस-जद (एस) गठबंधन सरकार की मुसीबत और भी ज्यादा बढ़ चुकी है। राज्य में गठबंधन सरकार के सहयोगी कांग्रेस के 21 मंत्रियों के मंत्रिमंडल से इस्तीफे के तुरंत बाद अब जद (एस) के मंत्रियों ने भी इस्तीफे दे दिए हैं। कर्नाटक मुख्यमंत्री कार्यालय की ओर से कहा गया है कि कांग्रेस की तरह जेडीएस के भी सभी मंत्रियों ने इस्तीफा दे दिया है और नए कैबिनेट का जल्द पुनर्गठन होगा।
कर्नाटक में चल रहे सियासी नाटक की आंच सोमवार को संसद तक पहुंच गई। लोकसभा में कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी ने भारतीय जनता पार्टी पर राज्य सरकार को अस्थिर करने का आरोप लगाया। जवाब में केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने साफ किया कि कर्नाटक में जो कुछ भी हो रहा है, उसमें उनकी पार्टी का कोई हाथ नहीं है। इस दौरान रक्षा मंत्री ने कांग्रेस विधायकों के इस्तीफे के बहाने राहुल गांधी पर तंज भी कसा और कहा कांग्रेस में इस्तीफे की शुरुआत की तो राहुल ने की थी।
कांग्रेस ने लोकसभा में उठाया कर्नाटक का मुद्दा
सोमवार को शून्यकाल में कर्नाटक का मुद्दा उठाते हुए कांग्रेस के अधीर रंजन चौधरी ने आरोप लगाया कि मध्य प्रदेश और कर्नाटक की राज्य सरकारों को तोड़ने के लिए दल बदल कराने का काम किया जा रहा है। उन्होंने कहा, ‘‘इन्हें (भाजपा को) पसंद नहीं कि कहीं विपक्ष की सरकार रहे।’’ चौधरी ने आरोप लगाया कि कर्नाटक के कांग्रेस के विधायकों को पल्रोभन देकर दल बदल कराया जा रहा है और उन्हें चार्टर्ड विमान में ले जाकर मुंबई के पांच सितारा होटल में ठहराया जा रहा है।
उन्होंने इसके पीछे ‘सुनियोजित सोच’ होने का दावा करते हुए कहा कि इस बारे में जब सवाल उठेगा तो भाजपा कह सकती है कि ‘‘आपके विधायक आपके साथ नहीं रहे तो हम क्या करें।’’ सदन में कांग्रेस के नेता चौधरी ने कहा कि हमारी स्थिति ऐसी है कि घर में चांदी और सोने के सिक्के हैं जिन्हें चोर चोरी करके ले जा रहा है क्योंकि हमारे घर में पहरेदार नहीं हैं। चौधरी ने कहा कि लोकसभा चुनाव में ‘‘303 सांसद जीतने के बाद भी आपका पेट नहीं भरा है। आपका पेट, कश्मीरी गेट के बराबर हो गया है।’’
राजनाथ सिंह ने कांग्रेस पर किया कटाक्ष
रक्षा मंत्री और सदन के उप नेता राजनाथ सिंह ने कांग्रेस को जवाब देते हुए कहा, ‘‘कर्नाटक में इस समय जो कुछ हो रहा है, उसका हमारी पार्टी से कोई लेनादेना नहीं है। हमारी पार्टी का इतिहास रहा है कि हम दबाव और प्रलोभन से दल बदल कराने की कोशिश नहीं करते।’’ उन्होंने कहा कि हम संसदीय लोकतंत्र की गरिमा बनाए रखने के लिए प्रतिबद्ध हैं। सिंह ने कांग्रेस और राहुल गांधी पर कटाक्ष करते हुए कहा, ‘‘त्यागपत्र दिलाने का सिलसिला हमने शुरू नहीं किया। कांग्रेस में तो यह राहुल गांधी ने ही यह सिलसिला शुरू किया है और उनके कहने पर कई नेताओं ने त्यागपत्र दिए हैं। भाजपा का उससे कोई लेना देना नहीं है।’’
Watch | "It's Rahul Gandhi who started the trend of resignations in Congress": Defence Minister Rajnath Singh in Lok Sabha when #KarnatakaPoliticalCrisis was raised pic.twitter.com/AIRpJcm5v2
— NDTV (@ndtv) July 8, 2019
कांग्रेस सदस्यों ने राजनाथ सिंह के जवाब पर असंतोष जताते हुए अपने स्थानों पर खड़े होकर विरोध किया। इस बीच लोकसभा अध्यक्ष ओम बिड़ला ने द्रमुक के टी आर बालू को शून्यकाल में बोलने का अवसर दिया। बालू ने कहा कि तमिलनाडु के विद्यार्थियों को नीट से छूट देने के संबंध में राज्य विधानसभा ने दो विधेयक पारित कर राष्ट्रपति को मंजूरी के लिए भेजे थे। केंद्र ने इन्हें 27 महीने तक ठंडे बस्ते में डालकर रखा। बालू ने कहा कि हाल ही में पता चला है कि केंद्र सरकार ने मद्रास हाई कोर्ट को सूचित किया है कि राष्ट्रपति ने इन दोनों विधेयकों को निरस्त कर दिया है।
उन्होंने इस बारे में सरकार से स्पष्टीकरण की मांग की और सरकार की ओर से कोई जवाब नहीं आने पर द्रमुक सदस्यों ने सदन से वाकआउट किया। इसके बाद तृणमूल कांग्रेस के सुदीप बंदोपाध्याय ने देश में सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों के विनिवेश के विषय को उठाया। इसी दौरान कांग्रेस के सदस्य फिर से खड़े होकर कर्नाटक के मामले पर राजनाथ सिंह के जवाब पर असंतोष जताने लगे। बंदोपाध्याय अपनी बात पूरी नहीं कर सके। राहुल गांधी समेत पार्टी के अन्य सदस्य अपने स्थान पर खड़े हो गए।
नई कैबिनेट का जल्द होगा पुनर्गठन
दरअसल, कर्नाटक में संकट में चल रही जद (एस) और कांग्रेस की गठबंधन सरकार की हालत सोमवार को तब और ज्यादा नाजुक हो गई, जब लघु उद्योग मंत्री एच. नागेश ने मंत्री पद से इस्तीफा देकर 13 महीने पुरानी गठबंधन सरकार से अपना समर्थन वापस ले लिया। इसके बाद कांग्रेस के सभी 21 मंत्रियों ने मंत्रीपद छोड़ दिया। कांग्रेस के कुछ देर बाद ही जेडीएस के भी सभी मंत्रियों ने इस्तीफा दे दिया।
मुख्यमंत्री कार्यालय ने ट्विटर पर बताया, ‘‘जद (एस) के सभी मंत्रियों ने भी कांग्रेस के 21 मंत्रियों की तरह इस्तीफे दे दिये हैं। मंत्रिमंडल में जल्द ही फेरबदल होगा।’’ इससे पहले अमेरिका से लौटने के बाद मुख्यमंत्री एचडी कुमारस्वामी ने कांग्रेस और जेडीएस के नेताओं के साथ बैठकें की।
All ministers from #JDS have submitted their resignations just like the 21 ministers from #Congress.
Cabinet reshuffle will happen soon.— CM of Karnataka (@CMofKarnataka) July 8, 2019
बता दें कि सत्तारूढ़ गठबंधन के 13 विधायकों के इस्तीफों के बाद कर्नाटक में यह संकट पैदा हो गया है। गठबंधन साथियों के बीच गंभीर मतभेदों के कारण गत सप्ताह कांग्रेस के 10 और जनता दल (सेक्युलर) के तीन विधायकों ने विधानसभा अध्यक्ष के आर रमेश कुमार को अपना त्यागपत्र सौंप दिया था। इस्तीफा देने वाले अधिकतर विधायक मुंबई के एक होटल में रह रहे हैं। इन विधायकों के इस्तीफे से कुमारस्वामी की सरकार पर संकट के बादल गहरा गए हैं।