बाजार प्रतिस्पर्धा अगर ग्राहकों के हक में है तो राष्ट्रीय राजधानी में टैक्सी सेवा लेने वालों के लिए अच्छी खबर है। मोबाइल एप आधारित टैक्सी सेवा प्रदाता ओला और उबर की कमीशन नीति से परेशान दिल्ली के कुछ टैक्सी चालकों ने लोगों को टैक्सी सुलभ कराने की मोबाइल संचार प्रौद्योगिकी पर आधारित नया उद्यम ‘सेवा कैब’ चालू किया है। इसमें बड़ी संख्या में टैक्सी चालक जुड़ रहे हैं।
सेवा कैब का किराया 5 रुपये किलोमीटर से शुरू होता है। इसकी खासियत यह है कि इसमें एप के जरिये बुकिंग के साथ ही सामान्य टैक्सियों की तरह सीधे तौर पर स्टैंड से भी इसकी सेवा ले सकते हैं। इस स्टार्ट-अप ने अपने नेटवर्क पर सर्ज प्राइसिंग की नीति लागू नहीं करने का निर्णय किया है।
नौ चालकों की संचालन परिषद ‘चालक शक्ति’ द्वारा संचालित यह सेवा 1 मई से शुरू हो चुकी है और जुलाई के मध्य में इसकी औपचारिक शुरुआत होगी। ‘चालक शक्ति’ टैक्सी चालकों का संगठन है। सेवा कैब के सह-संस्थापक और सामाजिक कार्यकर्ता राकेश अग्रवाल ने पीटीआई से कहा कि ‘चालक ओला और उबर की नीतियों से परेशान थे।
अग्रवाल ने कहा कि विदेशों से वित्त पोषित दोनों कंपनियों ने शुरू में चालकों को प्रोत्साहन के रूप में प्रलोभन दिया, लेकिन बाद में उनकी नीतियां बदल गई। ये दोनों कंपनियां चालकों से हर बुकिंग का लगभग 27 प्रतिशत वसूल लेते हैं। इसमें 20 प्रतिशत कमीशन, 6 प्रतिशत सेवा कर तथा एक प्रतिशत स्रोत पर कर कटौती के रूप में लिया जाता है।
उन्होंने कहा कि इससे चालकों को अपनी कमाई का 27 प्रतिशत यानी करीब 15,000 रुपये से अधिक हर महीने उक्त कंपनियां को देना पड़ता है। अग्रवाल ने कहा कि अब तक करीब 2,000 चालक इससे जुड़े हैं और 10 जुलाई तक इसके 3,000 तक पहुंच जाने का अनुमान है।
गौरतलब है कि ओला और उबर से जुड़े चालकों ने कमीशन में कमी किए जाने की मांग तथा कंपनियों द्वारा दिए जाने वाले प्रोत्साहनों में लगातार कमी समेत अन्य मुद्दों को लेकर हाल ही में दिल्ली और कुछ अन्य शहरों में हड़ताल की थी।