तीन राज्यों में अपनी पार्टी के लोकसभा चुनाव अभियान की शुरूआत करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार (28 मार्च) को राष्ट्रीय सुरक्षा, आतंकवाद जैसे मुद्दों पर ध्यान केंद्रित रखा और अपनी सरकार को ‘‘निर्णय लेने वाली’’ करार देते हुए कहा कि उसने सभी क्षेत्रों- भूमि, आकाश और अंतरिक्ष में सर्जिकल स्ट्राइक करने का साहस दिखाया। पीएम मोदी ने उत्तर प्रदेश के मेरठ, उत्तराखंड के रूद्रपुर और जम्मू कश्मीर के अखनूर में रैलियों को संबोधित किया। इन तीन क्षेत्रों में पहले चरण के तहत 11 अप्रैल को चुनाव होने हैं।
प्रधानमंत्री मोदी ने सबसे पहले उत्तर प्रदेश के मेरठ से अपने चुनाव अभियान का शंखनाद करते हुए विपक्षी दलों पर जमकर हमला बोला। चुनावी रैली को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि मैं चौकीदार हूं, चौकीदार कभी नाइंसाफी नहीं करता, हिसाब होगा, सबका होगा, बारी बारी से होगा। उन्होंने कहा कि अपना हिसाब दूंगा ही और साथ-साथ दूसरों का हिसाब भी लूंगा। ये दोनों काम साथ-साथ चलेंगे। तभी तो होगा हिसाब बराबर। चौकीदार हूं भई, और चौकीदार कोई नाइंसाफी नहीं करता। हिसाब होगा, सबका होगा, बारी बारी से होगा।
‘सराब’ से की गठबंधन की तुलना
इस दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने सपा-बसपा गठबंधन और कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी पर निशाना साधते हुए कहा कि आज एक तरफ नए भारत के संस्कार हैं, तो दूसरी तरफ वंशवाद और भ्रष्टाचार का विस्तार है। एक तरफ दमदार चौकीदार है, तो दूसरी तरफ ‘‘दागदारों की भरमार’’ है। उन्होंने कहा कि मुकाबला ‘‘एक निर्णायक सरकार और एक अनिर्णायक अतीत के बीच है।’’
प्रधानमंत्री ने समाजवादी पार्टी, राष्ट्रीय लोकदल और बहुजन समाज पार्टी गठबंधन पर निशाना साधते हुए कहा कि इन तीनों पार्टियों के पहले अक्षरों को मिलाकर ‘सराब’ बनती है। मेरठ से चुनावी अभियान की शुरूआत करते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि सपा के ‘स’, रालोद के ‘रा’ और बसपा के ‘ब’ को मिलाकर ‘सराब’ बनती है जो सेहत के लिए खतरनाक होती है, इसलिए इस गठबंधन से सावधान रहना चाहिए।
लोगों ने लिए मजे
पीएम मोदी के इस बयान पर विपक्षी दलों की ओर से तीखी प्रतिक्रिया सामने आई। वहीं, प्रधानमंत्री मोदी द्वारा ‘सराब’ को ‘शराब’ कहने पर देखते ही देखते ही यह ट्विटर पर ट्रेंड करने लगा और लोग मजे लेने लगे। सोशल मीडिया यूजर्स के अलावा बॉलीवुड भी मजा लेने में पीछे नहीं रहा। बॉलीवुड के मशहूर डायरेक्टर, निर्माता और म्यूजिक कंपोजर विशाल भारद्वाज भी खुद को ट्वीट करने से रोक नहीं पाए।
‘कमीने’, ‘ओंकारा’ और ‘मकबूल’ जैसी यादगार फिल्में देने वाले विशाल भारद्वाज ने ट्विटर पर मशहूर शायर मीर तक़ी मीर का एक शेर ट्वीट किया है और प्रधानमंत्री मोदी का बिना जिक्र किए तंज कसते हुए सभी सोशल मीडिया यूजर्स को नसीहत दी है कि ‘सराब’ को ‘शराब’ न कहें। बता दें कि इन दोनों ही शब्दों के मायने एकदम अलग हैं। प्रधानमंत्री मोदी ने सपा, बसपा और रालोद के शुरू के अक्षर लेकर ‘सराब’ बनाया था।
विशाल भारद्वाज ने अपने आधिकारिक ट्विटर एकाउंट पर लिखा, “हस्ती अपनी हबाब की सी है… ये नुमाइश सराब की सी है। – मीर तक़ी मीर। सराब को शराब ना पढ़े ना बोलें…” उन्होंने अपने ही फिल्मी अंदाज में बड़ी ही खूबसूरती के साथ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा किए गए शब्दों के गलत इस्तेमाल की ओर ध्यान डालने की कोशिश की है और साथ ही उन्होंने हल्के-फुल्के अंदाज में तंज भी कसा है। इनका यह ट्वीट वायरल हो गया है।
हस्ती अपनी हबाब की सी है
ये नुमाइश सराब की सी है।
मीर तक़ी मीर।
सराब को शराब ना पढ़े ना बोलें 🙂— Vishal Bhardwaj (@VishalBhardwaj) March 28, 2019
विशाल के इस ट्वीट पर एक यूजर ने भी मजे लेते हुए पूछा- “शराब का नाम सराब होता तो क्या उसमें नशा नहीं होता?” इस पर उन्होंने रिप्लाई करते हुए लिखा, “यूँ होता तो क्या होता? अब तो कुछ भी बदला जा सकता है। शराब का नाम सराब करवा ही दीजिए हुज़ूर, sorry, श्रीमान”
यूँ होता तो क्या होता? अब तो कुछ भी बदला जा सकता है। शराब का नाम सराब करवा ही दीजिए हुज़ूर, sorry, श्रीमान
— Vishal Bhardwaj (@VishalBhardwaj) March 28, 2019
देखिए, कुछ मजेदार ट्वीट्स:
मोदी जी का मेरठ वाला भासन बहुत सानदार था । रास्त्रवाद पर उनकी पेसकस अच्छी थी लेकिन जीत और सिकस्त का फ़ैशला का शारा दारोमदार इश बात पर निर्भर करता है कि जनता किश पर विस्वास करती है। तेईश मई को शब शाफ हो जाएगा।
— Rifat Jawaid (@RifatJawaid) March 29, 2019
आज टेली-प्रॉम्प्टर ने यह पोल खोल दी कि सराब और शराब का अंतर वह लोग नहीं जानते जो नफ़रत के नशे को बढ़ावा देते हैं
सराब को मृगतृष्णा भी कहते हैं और यह वह धुंधला सा सपना है जो भाजपा 5 साल से दिखा रही है लेकिन जो कभी हासिल नहीं होता। अब जब नया चुनाव आ गया तो वह नया सराब दिखा रहे हैं
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) March 28, 2019
हे @narendramodi 'जी',
'शराब होता है', 'सराब' नहीं। पार्टी का नाम 'सपा' है, 'शपा' नहीं। अपनी इस शब्दों को जोड़ने वाले ग्यान से हमें बख्श दीजिए। https://t.co/dObPk917c5
— All India Mahila Congress (@MahilaCongress) March 28, 2019
आज मोदीजी: शोर नही बाबा सोर सोर सोर।
शराब नही बाबा सराब सराब सराब । #ModiinMeerut
— Abhisar Sharma (@abhisar_sharma) March 28, 2019
सराब शराब है तो कल जो मारा था वो 'शैटेलाइट' ?
— Kirtish Bhatt (@Kirtishbhat) March 28, 2019
हम को भरम ने कैसा तमाशा बना दिया
दरिया समझ के कूद पड़े हम #सराब में – – सराब- mirage मरीचिका— anshuman tiwari (@anshuman1tiwari) March 28, 2019
मैं: सोनपापड़ी
मोदीजी: शोनपापड़ी— Kirtish Bhatt (@Kirtishbhat) March 28, 2019
अभिशार:
बात शुप्रीम लीडर की है,
शर्दी-गर्मी के मौशम की नहीं!वो शमझदार हैं, शरकार चलाते हैं,
शबका शाथ, शबका विकाश की बात करते हैं।आपकी बात शही नहीं है! https://t.co/g8l1PFVvFt
— Rakesh Sharma (@rakeshfilm) March 28, 2019