सऊदी अरब में हाल ही में गठित होने वाले भरष्टाचार संस्था आयोग ने राज घराने के दस सदस्यों सहित दर्जनों सरकारी अफसरों को हिरासत में ले लिया है। सऊदी मीडिया के अनुसार 10 राजकुमारों की गिरफ्तारी देश के अगले शासक और राजकुमार मुहम्मद बिन सलमान के इशारे पर की गयी है।
AP की एक खबर के अनुसार सलमान ने शहजादे मुतैब बिन अब्दुल्लाह को नैशनल गार्ड के प्रमुख के पद से बर्खास्त किया है। उनके स्थान पर शहजादे खालिद बिन अयाफ अल मुकरीन को नियुक्त किया गया है। उनके पास गार्ड में वरिष्ठ पद था।
शहजादे मुतैब के पिता दिवंगत शाह अब्दुल्लाह हैं जिन्होंने नैशनल गार्ड का नेतृत्व किया था। उन्होंने ही नैशनल गार्ड को शक्तिशाली और प्रतिष्ठित बल में बदला था और इसे सत्ताधारी सऊदी परिवार और मक्का तथा मदीना में पवित्र स्थलों एवं तेल और गैस स्थलों की सुरक्षा का जिम्मा दिया।
शहजादे मुतैब को तख्त का एक दावेदार माना जा रहा था। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार जल्द ही मोहम्मद बिन सलमान की सऊदी अरब के नए राजा के तौर पर ताजपोशी की जायेगी। सलमान अपने कड़े रुख केलिए जाने जाते है और देश में सरकारी संस्थानों के निजीकरण सहित कई और आर्थिक सुधारों के पीछे भी उनका हाथ बताया जाता है।
कहा ये भी जा रहा है कि क़तर के खिलाफ आर्थिक प्रतिबन्ध का फैसला भी सलमान ने लिया था। देश में हाल ही में गठित होने वाले भरस्टाचार विरोधी संस्था के मुखिया भी वो खुद हैं।
वहीँ सऊदी मामलों के जानकारों का मानना है कि 10 राजकुमारों और दर्जनों अतिरिक्त सरकारी अफसरों को जेल में दाल कर सलमान अपने खिलाफ तमाम विरोध को ख़त्म कर देना चाहते हैं।
इस बीच, सऊदी अरब के उलेमा की शीर्ष परिषद ने एक बयान जारी कर कहा कि भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ना इस्लामी फर्ज है। इतनी उच्च स्तरीय गिरफ्तारियों के लिए मजहबी नेताओं का समर्थन जरूरी है।
सरकार ने कहा कि भ्रष्टाचार रोधी समिति को गिरफ्तारी वॉरंट जारी करने, यात्रा प्रतिबंध लगाने और बैंक खातों पर रोक लगाने के अधिकार हैं। यह समिति कोष का पता लगा सकती है, कोष के स्थानातंरण को रोक सकती है तथा अन्य एहतियाती उपाय कर सकती है जब तक कि मामलों को न्यायपालिका में न भेजा जाए।