नोटबंदी को ‘फ्लॉप’ करार देते हुए दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने सोमवार को आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘अहंकार और हठ’ ने देश को 10 साल पीछे धकेल दिया है। उन्होंने कहा कि यह कदम कालाधन, भ्रष्टाचार, जाली नोटों के प्रसार और आतंकवाद को वित्त पोषण पर रोक लगाने में नाकाम रहा है।
केजरीवाल ने आरोप लगाया कि अधिक रकम के नोट पर पाबंदी लगने के बाद से काला धन और भ्रष्टाचार 10 गुना तक बढ़ गया है। उन्होंने इस संकट के लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ धोखाधड़ी और फर्जीवाड़ा के मामले दर्ज करने की मांग की। दिल्ली के मुख्यमंत्री ने यह आरोप भी लगाया कि भाजपा ने नोटबंदी के कदम से पहले बिहार और अन्य राज्यों में जमीन खरीद कर अपने कालेधन को ठिकाना लगा दिया।
उन्होंने संवाददाताओं को संबोधित करते हुए कहा कि नोटबंदी को लागू किए सोमवार को 20 दिन हो गए। यह कालाधन, आतंकवाद को वित्त पोषण, जाली नोट और भ्रष्टाचार पर रोक लगाने में पूरी तरह नाकाम रहा है। नोटबंदी फ्लॉप रहा है।
मुख्यमंत्री ने आरोप लगाया कि आरबीआई के नए नोट लाने की तुलना में कहीं अधिक तेजी से जाली नोटों का प्रसार हो रहा है जिससे यह संदेह हो रहा है कि क्या यह काला धन को सफेद करने का तरीका है। उन्होंने कहा कि नोटबंदी की घोषणा के बाद से लोगों ने अपने बैंक खातों में आठ लाख करोड़ रुपये जमा किए हैं।
भाषा की खबर के अनुसार, उन्होंने कहा, ”हमारी जानकारी के मुताबिक उनमें अभी तक कोई कालाधन नहीं जमा हुआ है। प्रधानमंत्री के अहंकार और हठ ने देश को 10 साल पीछे धकेल दिया।” उन्होंने कहा कि अक्टूबर की तुलना में भ्रष्टाचार का स्तर और कालाधन बनने में 10 गुना तक वृद्धि हुई है. अमेरिकी डॉलर कानूनी तौर पर 70 रुपये में उपलब्ध है लेकिन काला बाजार में यह 116 रुपये में खरीदा जा रहा है।
उन्होंने आरोप लगाया कि सोना प्रति 10 ग्राम 30,000 रुपये में खरीदा जा रहा है लेकिन गलत माध्यम से यह 56,000 रुपये में खरीदा जा रहा है। मुख्यमंत्री ने कहा कि केंद्र ने सावधि जमा की ब्याज दर में काफी कटौती की है, जो बुजुर्ग लोगों की परेशानी बढ़ाएगा। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री शायद इसलिए संसद में जाने से बच रहे हैं क्योंकि उन्हें अपने खिलाफ लगे कुछ आरोपों का सामना करने का भय है।