मध्य प्रदेश के एक पुलिस स्टेशन में स्थानिय पत्रकार और सात अन्य लोगों की गिरफ्तारी के बाद थाने में उनकी एक तस्वीर सोशल मीडिया पर खूब वायरल हो रही है। वायरल फोटो में कुछ लोग दीवार के पास खड़े हैं और उनके सारे कपड़े उतरे हुए है, यह सभी लोग अधनंगी हालत में नजर आ रहे हैं। बताया जा रहा है कि गिरफ्तारी के बाद उनके कपड़े उतरवा दिए गए थे। ये तस्वीर 2 अप्रैल की बताई जा रही है। यह तस्वीर सामने आने के बाद लोग मध्य प्रदेश पुलिस की जमकर आलोचना कर रहे हैं। वहीं, इस पूरे मामले पर अब पुलिस का बयान भी सामने आया हैं।

मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, फोटो में शामिल एक स्थानीय पत्रकार और यूट्यूबर ने आरोप लगाया है कि जब वह स्थानीय भाजपा विधायक के खिलाफ प्रदर्शन करने के लिए गया था तो उसके साथ गालीगलौज कर मारपीट की गई और कुछ पुलिसकर्मियों ने कपड़े उतारने के लिए मजबूर किया।
यह घटना मध्य प्रदेश के सीधी जिले में शनिवार को हुई जब यह पत्रकार एक फर्जी फेसबुक प्रोफाइल का उपयोग करके भाजपा विधायक केदारनाथ शुक्ला और उनके बेटे गुरुदत्त शुक्ला के खिलाफ कथित अभद्र कमेंट के लिए थिएटर आर्टिस्ट नीरज कुंदर की गिरफ्तारी के विरोध में प्रदर्शन को कवर करने गया था।
वहीं, इस मामले पर मध्य प्रदेश पुलिस का बयान भी सामने आया है। सीधी में थाने में पत्रकार को आधा नंग्न रखने के मुद्दे पर SHO मनोज सोनी ने कहा कि, “पकड़े हुए लोग पूरे नग्न नहीं थे। हम सुरक्षा की दृष्टी से उनको हवालात में अंडरवियर में रखते हैं जिससे कोई व्यक्ति अपने कपड़ों से खुद को फांसी न लगा ले। सुरक्षा की वजह से हम उनको ऐसे रखते हैं।”
सोनी ने आगे कहा कि, “कुछ दिन पहले थाने में एक आदमी के खिलाफ FIR दर्ज़ हुई थी। यह आदमी फर्जी ID बनाकर प्रतिष्ठित लोगों को अपशब्द बोलता था। आरोपी की तरफ से 25-30 लोगों ने थाने के सामने प्रदर्शन किया। इन लोगों को हवालात में डाल दिया। इनमें से एक ही पत्रकार है जो यूट्यूब पर काम करता है।”
कुछ दिन पहले थाने में एक आदमी के खिलाफ FIR दर्ज़ हुई थी। यह आदमी फर्जी ID बनाकर प्रतिष्ठित लोगों को अपशब्द बोलता था। आरोपी की तरफ से 25-30 लोगों ने थाने के सामने प्रदर्शन किया। इन लोगों को हवालात में डाल दिया। इनमें से एक ही पत्रकार है जो यूट्यूब पर काम करता है: SHO मनोज सोनी https://t.co/YLob2Gt0TA pic.twitter.com/4yGUA2vjI5
— ANI_HindiNews (@AHindinews) April 7, 2022
वहीं, IG रीवा ने अपने ट्वीट में कहा, “सीधी जिले से संबंधित एक फोटो सोशल मीडिया पर प्रसारित हुआ है। इसको गंभीरता से लेते हुए थाना प्रभारी कोतवाली सीधी एवं एक उप निरीक्षक को तत्काल हटा कर पुलिस लाइन संबद्ध किया गया है एवं प्रकरण की जांच अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक से कराने के निर्देश जारी किए गए हैं। मध्य प्रदेश पुलिस आम जनता से सम्मानजनक व्यवहार के लिए प्रतिबद्ध है।”
मध्यप्रदेश पुलिस आम जनता से सम्मानजनक व्यवहार के लिए प्रतिबद्ध है।
— IG Rewa (@IG_Rewa) April 7, 2022
वहीं, कांग्रेस ने इस मामले में पुलिस की कार्रवाई पर सवाल उठाए हैं। कांग्रेस के तमाम नेताओं ने इस मसले पर सोशल मीडिया पर सरकार को घेरा है। पूर्व मंत्री जयवर्धन सिंह ने फोटो ट्वीट करते हुए कहा कि यह मप्र के सीधी जिले के पुलिस थाने की तस्वीर है। यह अर्धनग्न युवा कोई चोर उचक्के नहीं है, ये लोकतंत्र के चौथा स्तंभ कहे जाने वाले मीडिया के साथी है। इन्हें अर्धनग्न कर जेल में इसलिए डाला गया क्योंकि इन्होंने भाजपा विधायक के खिलाफ खबर चलाई थी।
वहीं, पूर्व मंत्री पीसी शर्मा ने कहा कि प्रदेश की निकम्मी और उनके बड़बोले मुखिया से सवाल करना सीधी बघेली न्यूज चैनल के वरिष्ठ पत्रकार कनिष्क तिवारी और उनके साथियों को भारी पड़ा। नग्न कर उन्हें थाने में खड़ा किया गया है। यह घोर निंदनीय कृत्य है… शिवराज सिंह सरकार अब अंग्रेजों की भांति दमनकारी रवैया अपना रही है।
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