महाराष्ट्र के सावित्रीबाई फुले पुणे यूनिवर्सिटी द्वारा छात्रों के लिए एक अजीबोगरीब फरमान जारी किया गया है, जिसे लेकर विवाद शुरू हो गया है। दरअसल, यूनिवर्सिटी के इस नए फरमान के मुताबिक मांसाहारी छात्रों को गोल्ड मेडल नहीं दिया जाएगा। जी हां, केवल उन्हीं छात्रों को दिया जाएगा जो शाकाहारी होंगे और शराब सहित किसी भी तरह का नशा नहीं करते हों। इसमें योग, प्राणायाम करने वाले छात्रों को प्राथमिकता दी जाएगी। यूनिवर्सिटी ने इस संबंध में एक सर्कुलर भी जारी किया है।
न्यूज एजेंसी ANI की रिपोर्ट के मुताबिक, यूनिवर्सिटी ने कीर्तनकार शेलार मामा गोल्ड मेडल के लिए यह नई कसौटी तय की है। गोल्ड मेडल के लिए यूनिवर्सिटी की तरफ से जारी योग्यता में कहा गया है कि इस गोल्ड मेडल के लिए वही छात्र पात्र होंगे जो कि शाकाहारी हैं और शराब का सेवन नहीं करते हैं।
Among others, students asked to be vegetarians & abstinent from alcohol, by Savitribai Phule Pune University as criteria for Maharishi Keertankar Shelar Mama Gold Medal.
— ANI (@ANI) November 10, 2017
रिपोर्ट के मुताबिक, यूनिवर्सिटी के सर्कुलर के अनुसार 10 ऐसी शर्तें तय की गई हैं जो गोल्ड मेडल के लिए छात्र की पात्रता तय करेंगे। गोल्ड मेडल पाने के लिए प्रशासन ने जो शर्त रखी है उसमें शर्त नंबर सात में जो लिखा गया है उसके मुताबिक मेडल की पात्रता के लिए केवल शाकाहारी और शराब सहित नशा न करने वाले छात्र ही आवेदन कर सकते हैं।गोल्ड मेडल पाने के लिए यूनिवर्सिटी प्रशासन ने जो अन्य शर्त दी है उसके मुताबिक आवेदक को दसवीं, बारहवीं और ग्रेजुएशन की पढ़ाई में पहली श्रेणी या दूसरी श्रेणी के साथ पास होना चाहिए। सूची में ये भी लिखा गया है कि योग, प्राणायाम और ध्यान करने वाले छात्र को इस मेडल के लिए प्राथमिकता दी जाएगी।
यूनिवर्सिटी द्वारा जारी फरमान के मुताबिक मेडल के लिए आवेदन करने वाले छात्र को भारतीय सभ्यता-संस्कृति में भी रुचि होनी चाहिए। ऐसे छात्रों को यूनिवर्सिटी की ओर से प्राथमिकता दी जाएगी। बता दें कि पूणे यूनिवर्सिटी भारत की नामी-गिरामी शिक्षण संस्थाओं में से एक है। यूनिवर्सिटी की स्थापना साल 1949 में की गई।
सर्कुलर पर विपक्ष ने कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की है। राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) की नेता और सांसद सुप्रिया सुले ने ट्वीट कर कहा कि, ‘पुणे यूनिवर्सिटी का निराशाजनक और चौंकाने वाला फैसला- अपने राज्य की शिक्षा पर गर्व है, हमारी यूनिवर्सिटीज को क्या हो गया है। कृपया शिक्षा पर ध्यान केंद्रित करें, भोजन पर नहीं।
Shocking disappointing decision by Pune University – so proud of education in our state, What has happened to our universities . Please focus on Education not food.
— Supriya Sule (@supriya_sule) November 10, 2017
बता दें कि कीर्तनकार रामचंद्र गोपाल शेलार उर्फ शेलार मामा के नाम पर यूनिवर्सिटी में गोल्ड मेडल की शुरुआत की गई है। यूनिवर्सिटी ने इस गोल्ड मेडल के लिए जो अर्हता रखी है, उसके मुताबिक स्टूडेंट 15 नम्वबर तक आवेदन कर सकते हैं। हालांकि विवाद होने पर संस्थान ने कहा कि यह मेडल योग महर्षि रामचंद्र गोपाल शेलार के नाम पर योग गुरु ट्रस्ट द्वारा दिया जाता है। इसकी नियम और शर्तें उसी ने तय की हैं।