प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने शिवसेना के वरिष्ठ नेता संजय राउत की पत्नी वर्षा राउत को पीएमसी बैंक धोखाधड़ी मामले के संबंध में पूछताछ के लिए तलब किया है। वर्षा राउत को मुंबई में 29 दिसंबर को केंद्रीय एजेंसी के समक्ष पेश होने के लिए कहा है। ख़बरों के मुताबिक, यह उनको पेश होने के लिए जारी तीसरा समन है, इससे पहले वह दो बार स्वास्थ्य आधार पर एजेंसी के समक्ष पेश नहीं हुई हैं। पूछताछ के लिए उन्हें समन धनशोधन रोकथाम कानून (पीएमएलए) के प्रावधानों के तहत जारी किया गया है।
आधिकारिक सूत्रों ने दावा किया कि ईडी वर्षा राउत से उस राशि की ‘रसीद’ के बारे में पूछताछ करना चाहता है जिसका कथित तौर पर बैंक से गबन किया गया था। ईडी ने पिछले साल अक्टूबर में पंजाब एंड महाराष्ट्र को-ऑपरेटिव (पीएमसी) बैंक में कथित ऋण धोखाधड़ी की जांच के लिए हाउजिंग डेवलपमेंट इन्फ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड (एचडीआईएल), उसके प्रमोटर राकेश कुमार वधावन और उनके बेटे सारंग वधावन, उसके पूर्व अध्यक्ष वी. सिंह और पूर्व प्रबंध निदेशक जॉय थॉमस के खिलाफ पीएमएलए के एक मामला दर्ज किया था।
पत्नी वर्षा राउत को ईडी का समन मिलने के बाद संजय राउत ने ट्वीट करते हुए तंज कसा है। उन्होंने अपने ट्वीट में लिखा है, ”आ देखें जरा, किसमें कितना है दम. जमकर रखना कदम, मेरे साथिया…” हालांकि, संजय राउत ने ट्वीट में किसी का नाम तो नहीं लिखा, लेकिन पत्नी को समन मिलने के बाद उन्होंने ये पलटवार किया है।
— Sanjay Raut (@rautsanjay61) December 27, 2020
एजेंसी ने पीएमसी बैंक को कथित रूप से “प्रथम दृष्टया गलत तरीके से 4,355 करोड़ रुपये का नुकसान और खुद को लाभ” पहुंचाने के लिए उनके खिलाफ मुंबई पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा द्वारा दर्ज प्राथमिकी पर संज्ञान लिया था।
राकांपा और कांग्रेस के साथ महाराष्ट्र में सत्तारूढ़ महागठबंधन महा विकास अघाड़ी (एमवीए) की हिस्सा शिवसेना ने पहले आरोप लगाया था कि केंद्रीय जांच एजेंसियां उन्हें गलत तरीके से निशाना बना रही हैं। हाल ही में शरद पवार की पार्टी राकांपा में शामिल हुए भाजपा के पूर्व नेता एकनाथ खडसे को भी ईडी ने पुणे के भोसरी इलाके में एक भूमि सौदे से जुड़े धनशोधन मामले के संबंध में 30 दिसंबर को पूछताछ के लिए तलब किया है। (इंपुट: भाषा के साथ)