इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (आईएमए) ने कोलकाता में डॉक्टरों के खिलाफ हुई हालिया हिंसक घटनाओं के बीच मेडिकल बिरादरी के खिलाफ होने वाली हिंसा से निबटने के लिए केंद्रीय कानून बनाए जाने और उसके क्रियान्वयन की मांग को लेकर सोमवार को 24 घंटे के लिए राष्ट्रव्यापी हड़ताल का आह्वान किया है। एम्स के रेजिडेंट डॉक्टर सोमवार को दोपहर 12 बजे से लेकर कल (मंगलवार को) सुबह 6 बजे तक हड़ताल पर रहेंगे।
हड़ताल कर रहे डॉक्टरों की मांग है कि डॉक्टरों के साथ हो रही मारपीट और बनी ऐसी परिस्थिति में सेंट्रल एक्ट फॉर वायलेंस अगेंस्ट डॉक्टर्स लाया जाए। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन ने एक दिन पहले राज्यों से डॉक्टरों एवं मेडिकल पेशेवरों की किसी भी प्रकार की हिंसा से सुरक्षा के लिए विशेष कानून लागू करने पर विचार करने को कहा था जिसके बाद आईएमए की यह घोषणा सामने आई है।
Delhi: Resident Doctors' Assoc of All India Institute of Medical Sciences (#AIIMS) to go on strike from 12 noon today till 6 am tomorrow,in support of doctors strike over violence against them in West Bengal. Emergency services including Casualty,ICU & Labour room to be continued pic.twitter.com/l1V8w7NGej
— ANI (@ANI) June 17, 2019
शीर्ष मेडिकल संस्था ने डॉक्टरों एवं स्वास्थ्यकर्मियों पर तथा अस्पतालों में इस तरह की हिंसा से निपटने के लिये व्यापक केंद्रीय कानून की मांग की। आईएमए के बयान के अनुसार हिंसा के दोषियों के लिये कड़े दंड के प्रावधान को केंद्रीय कानून में शामिल किया जाना चाहिए और भारतीय दंड संहिता तथा अपराध दंड प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी) में उपयुक्त संशोधन होना चाहिए।
बयान के अनुसार, आउटडोर पेशंट डिपार्टमेंट (ओपीडी) सेवा सहित गैर जरूरी सेवाएं सोमवार सुबह छह बजे से मंगलवार सुबह छह बजे तक 24 घंटे के लिए बंद रहेंगी। इसके अनुसार इस दौरान आपात एवं आकस्मिक सेवाएं जारी रहेंगी। इसने 17 जून को गैर जरूरी स्वास्थ्य सेवाओं को रद्द करने के साथ देशव्यापी हड़ताल का आह्वान किया है।आईएमए तथा दिल्ली मेडिकल एसोसिएशन (डीएमए) के प्रतिनिधियों ने शनिवार को वर्धन से बात की थी।
इससे पहले रविवार को हड़ताल पर बैठे जूनियर डॉक्टरों ने कहा कि पारदर्शिता के लिए सीएम ममता बनर्जी से बातचीत मीडिया के सामने होनी चाहिए, न ही बंद कमरे में। रविवार को पत्रकारों से बातचीत में जूनियर डॉक्टरों ने कहा कि वे बातचीत के लिए तैयार तो हो गए हैं, लेकिन यह सब कुछ बंद कमरे में नहीं होगा। हड़ताली डॉक्टर मीडिया की मौजूदगी में सीएम से बात करना चाहते हैं।
डॉक्टर ममता से शर्तो के साथ वार्ता को तैयार
पश्चिम बंगाल में जूनियर डॉक्टर 11 जून से हड़ताल पर हैं। हालांकि, प्रदर्शनकारी जूनियर डॉक्टरों ने रविवार को अपने रुख में नरमी लाते हुए कहा कि मुख्यमंत्री ममता बनर्जी उनके साथ बैठक की जगह तय करने के लिए स्वतंत्र हैं लेकिन उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि बैठक खुले में होनी चाहिए।
बनर्जी ने रविवार को प्रदर्शनकारियों को बंद कमरे में बैठक के लिए आमंत्रित किया था, लेकिन उन्होंने उनकी इस पेशकश को ठुकरा दिया था। आईएमए ने सोमवार को देशव्यापी हड़ताल की चेतावनी दे रखी है। अपने संचालन मंडल की ढाई घंटे चली बैठक के बाद जूनियर डॉक्टरों के संयुक्त मोर्चा के प्रवक्ता ने मीडिया से कहा, हम लोग इस गतिरोध को दूर करने के इच्छुक हैं।
हम लोग मुख्यमंत्री के साथ उनके पसंद की जगह पर बैठक करने के लिए तैयार हैं, लेकिन बैठक बंद कमरे में नहीं बल्कि मीडियाकर्मियों की मौजूदगी में खुले में होनी चाहिए। प्रवक्ता ने कहा कि राज्य के सभी मेडिकल कॉलेज एवं अस्पतालों से प्रतिनिधि बैठक में शामिल हो सकें, इसके लिए बैठक स्थल पर पर्याप्त जगह होनी चाहिए।