केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार में केंद्रीय मंत्री बाबुल सुप्रियो और पश्चिम बंगाल बीजेपी के एक वरिष्ठ नेता के खिलाफ पुलिस ने धारा 144 का उल्लघंन करने और पुलिस के काम में बाधा पहुंचाने का प्रयास करने के आरोप में एफआईआर दर्ज की है। बता दें कि राज्य में रामनवमी के दिन (25 मार्च, 2018) भड़की हिंसा थमने का नाम नहीं ले रही है। बीते रविवार को हुई इस हिंसा में अबतक चार लोगों की हत्या हो चुकी है। चौथे मृतक शख्स की पहचान एक 16 वर्षीय किशोर के रूप में की गई है।
इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक उत्तर आसनसोल पुलिस स्टेशन में बाबुल सुप्रियो के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है। बाबुल सुप्रियो पर धारा-144 तोड़ने और एक आईपीएस अफसर पर हमला करने का आरोप पुलिस ने लगाया है।उन पर सीआरपीसी की धारा 144 और आईपीसी की धारा 146, 147, 148 और 353 का उल्लंघन करने का आरोप लगा है। सुप्रियो पर इसी के साथ आरोप है कि उन्होंने वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी रूपेश कुमार पर हमला किया।
गौरतलब है कि सुप्रियो अपने कुछ नेताओं के साथ मिलकर आसनसोल-रानीगंज इलाके में हालात का जायजा लेने के लिए जाना जा रहे थे, लेकिन पुलिस ने उन्हें ऐसा करने से रोक दिया था। इसी दौरान पुलिस के वरिष्ठ अधिकारियों और उनके बीच तीखी नोकझोंक भी हुई थी। बता दें कि इलाके में रामनवमी के जुलूस को लेकर शुरू हुई हिंसा के बाद स्थिति तनावपूर्ण बनी हुई है। अपने ऊपर दर्ज एफआईआर की खबर के बाद सुप्रियो ने दावा किया कि पुलिस ने जानबूझकर ऐसा किया है।
‘चमड़ी छील दूंगा’
इस बीच न्यूज चैनलों पर दिखाए जा रहे वीडियो में केंद्रीय मंत्री बाबुल सुप्रियो ने कुछ लोगों को चमड़ी उधेड़ने की धमकी देते हुए नजर आ रहे हैं, जब लोग उनके खिलाफ नारे लगा रहे थे। दरअसल, भीड़ ने उन्हें लौट जाने को कहा, जिस पर उन्होंने लोगों को खुली धमकी दे डाली। लोगों ने कहा कि वह उनकी चमड़ी छीलवा देंगे।
न्यूज चैनलों पर दिखाए जा रहे वीडियो क्लिप के मुताबिक, सुप्रियो के पास कुछ लोग पहुंचे थे। सांसद उनसे कह रहे थे, “क्या मैंने आपसे लड़ने को कहा? मैं चला जाऊंगा। लेकिन आप मुश्किल में आ जाएंगे।” आगे जब उनसे भीड़ में से एक शख्स ने लौट जाने को कहा। जिसके बाद नाराज सुप्रियो ने कहा, “चमड़ी उधेड़वा लूंगा तुम्हारी।”
जब इस बारे में सांसद से पूछा गया तो उन्होंने कहा कि, वहां पर टीएमसी के दो-तीन शरारती तत्व मौजूद थे जो माहौल खराब करने की कोशिश कर रहे थे। सुप्रियो के अनुसार, “रास्ते में बुजुर्ग महिला को देख मैंने अपनी गाड़ी रोकी थी। वह महिला रो रही थी। लेकिन शरारती तत्वों ने मुझे उससे मिलने नहीं दिया। उसे धकियाया। पुलिस को उन शरारती तत्वों को पकड़ना चाहिए था। मगर निशाना मैं बनाया गया। अगर मेरे चमड़ी उधेड़वा लूंगा वाले बयान की बात है, तो वह मैंने उन शरारती तत्वों के लिए गुस्से में आकर कहा था।”
बता दें कि राज्य के रानीगंज में रामनवमी की एक रैली को लेकर रविवार और सोमवार को दो समूहों के बीच हुई झड़प के बाद इलाके में इंटरनेट सेवाएं निलंबित हैं और सीआरपीसी की धारा 144 के तहत निषेधाज्ञा लगा दी गई है। पुलिस ने बताया कि कल रात से इलाके में हिंसा की कोई खबर नहीं मिली है और स्थिति ‘नियंत्रण’में है।