उत्तर प्रदेश के रामपुर में समाजवादी पार्टी (सपा) के प्रत्याशी आजम खान ने एक बार फिर एक विवादित बयान दिया है। बीजेपी प्रत्याशी जयाप्रदा को लेकर दिए उनके शर्मनाक बयान पर मीडिया द्वारा सवाल पूछे जाने के बाद आजम खान ने पत्रकारों से कहा कि मैं यहां आपके वालिद की मौत में आया था।
गौरतलब है कि, समाजवादी पार्टी के नेता और पूर्व कैबिनेट मंत्री आजम खान ने रविवार को रामपुर की शाहबाद तहसील में आयोजित एक चुनावी जनसभा को संबोधित करते हुए बिना नाम लिए जया प्रदा पर एक विवादित टिप्पणी की थी। उनके इस बयान की हर कोई निंदा कर रहा है।
इस बयान के बाद सोमवार को आजम मध्य प्रदेश के विदिशा जिले में पहुंचे थे। यहां जब कुछ पत्रकारों ने जया प्रदा को लेकर उनके द्वारा दिए बयान पर उनकी प्रतिक्रिया लेनी चाही, तो आजम खान इस पर भड़क गए और पत्रकारों से कहा कि, ‘मैं यहां आपके वालिद की मौत में आया था।’ यह कहते हुए आजम यहां से चले गए और पत्रकारों के सवाल का कोई जवाब नहीं दिया।
#WATCH Azam Khan when questioned by media in Vidisha,Madhya Pradesh says 'Aapke vaalid ki maut mein aaya tha'. He was in Vidisha for last rites of former Rajya Sabha MP Munawwar Salim who had passed away earlier today pic.twitter.com/d0BOIDhqNc
— ANI UP (@ANINewsUP) April 15, 2019
जयाप्रदा का नाम लिए बगैर आजम खान ने जनसभा में मौजूद लोगों से पूछा, ‘क्या राजनीति इतनी गिर जाएगी कि 10 साल जिसने रामपुर वालों का खून पिया, जिसे उंगली पकड़कर हम रामपुर में लेकर आए, उसने हमारे ऊपर क्या-क्या इल्जाम नहीं लगाए। क्या आप उसे वोट देंगे?’ आजम ने आगे कहा कि आपने 10 साल जिनसे अपना प्रतिनिधित्व कराया, उसकी असलियत समझने में आपको 17 साल लगे, मैं 17 दिन में पहचान गया कि इनके नीचे का अंडरविअर खाकी रंग का है।
#WATCH Azam Khan says in Rampur(in apparent reference to jaya prada), "Jisko hum ungli pakadkar Rampur laaye, aapne 10 saal jinse apna pratinidhitva karaya…Uski asliyat samajhne mein aapko 17 baras lage,main 17 din mein pehchan gaya ki inke niche ka underwear khaki rang ka hai" pic.twitter.com/JwIlcth4uQ
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) April 14, 2019
जयाप्रदा के लिए मर्यादा लांघने के बाद आजम खान चौतरफा घिर गए हैं। आजम ने जयाप्रदा का नाम लिए बिना जो शर्मनाक बयान दिया उसको लेकर सोशल मीडिया सहित सभी राजनीतिक पार्टियों द्वारा निंदा हो रही है।