अमृतसर रेल हादसा: ट्रेन की चपेट में आने से ‘रावण’ की भी मौत, लेकिन मरते-मरते यूं बचाई कई लोगों की जान

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देशभर में दशहरे पर रावण दहन कर खुशियां मनाई गईं। वहीं, पंजाब में अमृतसर के निकट शुक्रवार(19 अक्टूबर) की शाम रावण दहन देखने के लिए रेल पटरियों पर खड़े लोगों के ट्रेन की चपेट में आने से करीब 61 लोगों की मौत हो गई जबकि 72 अन्य घायल हो गए, जिनमें कुछ की हालत बहुत गंभीर बनी हुई है। ट्रेन जालंधर से अमृतसर आ रही थी तभी जोड़ा फाटक पर यह हादसा हुआ। मौके पर कम से कम 300 लोग मौजूद थे जो पटरियों के निकट एक मैदान में रावण दहन देख रहे थे।

वहीं, इस हादसे की चपेट में सिर्फ दर्शक ही नहीं बल्कि खुद रावण का किरदार निभा रहे दलबीर सिंह भी आ गए। लोगों की जान बचाते-बचाते दलबीर सिंह खुद भी अपनी जान गवां बैठे। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, शुक्रवार को हादसे के कुछ मिनट पहले ही रावण की भूमिका निभाने के बाद दलबीर अपने घर अपने 8 महीने के बेटे से मिलने निकल चुके थे। लेकिन पटरी तक पहुंचते ही उन्होंने ट्रेन के आने की आवाज़ सुनी और घर ना जाते हुए वहां मौजूद लोगों को हटाने लगे।तभी अन्य लोगों के साथ ट्रेन की चपेट में आने से उनकी भी मौत हो गई।

नवभारतटाइम्स.कॉम की रिपोर्ट के मुताबिक, दलबीर सिंह के एक दोस्त ने बताया कि तेज रफ्तार से आ रही ट्रेन को देखकर वह (दलबीर) उन्हें बचाने के लिए भागा था। उन्होंने कहा, ‘दलबीर ने सात से आठ लोगों को रेल की पटरियों से पीछे धकेला लेकिन उसकी नियति में कुछ और ही लिखा था। ट्रेन ने उसे कुचल दिया जिससे मौके पर ही उसकी मौत हो गई।’

रावण दहन के दौरान पंजाब में हुआ दर्दनाक हादसा

रावण दहन के दौरान पंजाब में हुआ दर्दनाक हादसाhttps://www.jantakareporter.com/hindi/amritsar-train-rams-dussehra-kills-more-than-50/214065/

Posted by जनता का रिपोर्टर on Friday, 19 October 2018

इस हादसे के बाद से परिवार वालों का रो-रोकर बुरा हाल है। पत्नी बेसुध है और मां अपनी भावनाओं को काबू नहीं कर पा रही हैं। रिपोर्ट के मुताबिक, मां ने रोते हुए कहा कि मेरा बेटा कई वर्षों से रामलीला में अलग-अलग किरदार निभाता रहा है। दलबीर के पीछे उनकी विधवा मां, उनकी पत्नी और 8 महीने का बेटा ही बचे हैं।

दलबीर के परिवार की मांग है कि दलबीर की पत्नी को सरकारी नौकरी मिले और हादसे के लिए ज़िम्मेदार लोगों को सज़ा दी जाए। उनकी मां का कहना है कि उनके बेटे दलबीर ने बहुत बहादुरी वाला काम किया है। बता दें कि घटना के बाद पंजाब सरकार की ओर से मृतकों के परिजनों के लिए पांच-पांच लाख रुपये मुआवजे का ऐलान किया गया है।

पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने शनिवार को अमृतसर ट्रेन हादसे में घायल हुए लोगों से और मारे गये लोगों के परिजनों से मिलने के बाद घटना की मजिस्ट्रेटी जांच के आदेश दिये हैं। अमरिंदर सिंह ने मीडिया से बातचीत में कहा, ‘हम घटना की मजिस्ट्रेटी जांच कराने की घोषणा करते हैं।’ उन्होंने कहा कि दोषी का पता लगाने वाली रिपोर्ट चार सप्ताह में देने को कहा गया है, जालंधर के संभागीय आयुक्त को जांच कराने का काम सौंपा गया है।

 

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