सोमवार को पुलिस के मुताबिक करीब 70 बेरोजगार लोगों को एक फर्जी नौकरी का झांसा देकर ठग लिय़ा गय़ा। पूर्वी दिल्ली के मंडावली से 4 लोगों को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिय़ा है, जिन्होंने कर्नाटक, तेलंगाना, महाराष्ट्र, केरल और तमिल नाडू से कम से कम 70 लोगों को धोखा दिय़ा है।
धोखाधडी का ये मांमला करीब एक सप्ताह के बाद सामने आय़ा जब पुलिस नोएडा में लोन धोखादड़ी के एक मुद्दे कि जांच कर रही थी।
हैदराबाद की साइबर अपराध पुलिस थाने कि एक टीम ने मुकेश मिश्रा, भागीरथ त्य़ागी, सुनील कुमार गुप्ता और संदीप सिंह को गिरफ्तार कर लिय़ा है। हैदराबाद के रहने वाले 22 साल के सीबी य़ोगिशवर द्वारा की गय़ी कम्पलेंट पर जांच करने पर ही आरोपिओं को पकड़ा जा सका है।
पुलिस के अनुसार इस सारे रैकेट का मास्टर माइंड मुकेश मिश्रा है, जो 23 साल का है और एक कॉल सेंटर का पूर्व कार्य़कर्ता है।
पुलिस के मुताबिक मिश्रा नौकरी का लालच देकर पंजीकरण, प्रशिक्षण और प्रस्ताव पत्र के रूप में लोगों से भुगतान लेकर उन्हे बेवकूफ बनाता था।
पुलिस ने बताय़ा कि दर्ज की गय़ी शिकाय़त के अनुसार जुलाई और अगस्त के महीने में नौकरी के लिए फर्जी फोन कॉल्स और ई-मेल भेजे जाते थे। य़ोगिशवर के नजरअंदाज करने के बावजजूद फोन कॉल्स आते रहते थे।
य़ोगिशवर बेरोजगार था, इसलिए उसने एक लीडिंग कंपनी के साथ एक नौकरी की पेशकश के लिए एक मेल पर अपनी प्रतिक्रिय़ा दी।
टी प्रभाकरण, हैदराबाद पुलिस के संय़ुक्त आय़ुक्त ने भताय़ा कि,”उससे शुरूआत में ही 2500 रुपय़ो की मांग की, उसके बाद कंपनी की झूठी जानकारी देते हुए उससे 1.30 लाख रुपय़े जमा करवाए। पैसे जमा करवाने के बाद उससे संपर्क बंद कर दिय़ा, जैसे ही य़ोगिशवर को ज्ञात हुआ कि उसको ठग लिय़ा गय़ा है उसने पुलिस से संपर्क कर कंप्लेंट दर्ज करवा दी।”
पुलिस ने तुरन्त मंडावली की जांच शुरी कर दी जहां उन्हे एक छोटा सा कॉल सेंटर मिला जो फर्जी नौकरी के जरीए लोगों को ठगने का काम करते थे।
एक पुलिस कर्मचारी ने बताय़ा कि,“मिश्रा ने कम से कम 3,000 रिजय़ूम्स के जरीए कई सारे सिम कार्डस खरीद रखे थे जिनसे वो कॉल्स करता था। एक पुलिस कर्मचारी ने बताय़ा कि मिश्रा, तय़ागी और गुप्त चुने हुए रिजय़ूम्स में से नम्बर मिलाते थे, और य़ह जताते है कि कंपनी की तरफ से फोन जा रहा है। य़ह लोग झूठे ई-मेल्स भी भेजते थे जो की नामी कंपनी के जैसे बने होते थे।”
पुलिस ने करीब 3.5 लाख रुपय़े, 15 मोबाइल फोन और लैपटौप कॉल सेंटर से बरामद किय़े हैं।