“पार्टी मां के समान है और मां के साथ धोखा नहीं करना चाहिए”: पार्टी में चल रही खींचतान के बीच चिराग पासवान ने पहली बार तोड़ी चुप्पी; चाचा पशुपति कुमार पारस को लिखा पुराना पत्र किया शेयर

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लोक जनशक्ति पार्टी (लोजपा) में चल रही खींचतान के बीच चिराग पासवान ने मंगलवार को पहली बार अपनी चुप्पी तोड़ी है। उन्होंने एक ट्वीट कर चाचा पशुपति कुमार पारस को लिखे कुछ पुराने पत्र भी शेयर किए है। इसके साथ ही उन्होंने लिखा कि पापा की बनाई इस पार्टी और अपने परिवार को साथ रखने के लिए मैंने बहुत प्रयास किए लेकिन असफल रहा। पार्टी मां के समान है और मां के साथ धोखा नहीं करना चाहिए।

चिराग पासवान ने लेटर साझा करते हुए अपने ट्वीट में लिखा, “पापा की बनाई इस पार्टी और अपने परिवार को साथ रखने के लिए किए मैंने प्रयास किया लेकिन असफल रहा। पार्टी माँ के समान है और माँ के साथ धोखा नहीं करना चाहिए। लोकतंत्र में जनता सर्वोपरि है। पार्टी में आस्था रखने वाले लोगों का मैं धन्यवाद देता हूँ। एक पुराना पत्र साझा करता हूँ।”

गौरतलब है कि, लोक जनशक्ति पार्टी (लोजपा) के छह लोकसभा सदस्यों में से पांच ने दल के मुखिया चिराग पासवान को संसद के निचले सदन में पार्टी के नेता के पद से हटाने के लिए हाथ मिला लिया है और उनकी जगह उनके चाचा पशुपति कुमार पारस को इस पद के लिए चुन लिया है।

चाचा-भतीजे के बीच में पैदा हुआ मनमुटाव वक्त के साथ इतना बढ़ गया कि अब दोनों की राहें अलग-अलग हो चुकी हैं। सूत्रों का कहना है कि पार्टी में जो कुछ आज हो रहा है उसके संकेत पहली बार पिछले साल उस वक्त सामने आए थे जब चिराग पासवान ने सार्वजनिक तौर पर चाचा पशुपति कुमार पारस के खिलाफ नाराजगी जाहिर कर दी थी।

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