लद्दाख के गलवान घाटी में भारतीय और चीनी सैनिकों की झड़प के मुद्दे पर चर्चा के लिए बुलाई गई एक सर्वदलीय बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार (19 जून) को कहा कि न वहां किसी ने भारतीय क्षेत्र में प्रवेश नहीं किया और ना ही हमारी कोई पोस्ट किसी दूसरे के कब्जे में है। उन्होंने कहा कि, लद्दाख में हमारे 20 जांबाज शहीद हुए, लेकिन जिन्होंने भारत माता की तरफ आंख उठाकर देखा था, उन्हें वे सबक सिखाकर गए। उन्होंने कहा कि सेना को यथोचित कदम उठाने की आजादी दी गई है।
सरकार ने एक बयान में कहा, ‘‘प्रधानमंत्री ने बैठक की शुरुआत में स्पष्ट किया कि न वहां कोई हमारी सीमा में घुसा हुआ है, न ही हमारी कोई चौकी किसी दूसरे के कब्जे में है।’’ बयान के अनुसार उन्होंने नेताओं को आश्वस्त किया कि सशस्त्र बल देश की रक्षा के लिए कोई कोर-कसर नहीं छोड़ रहे। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, ‘‘एक तरफ सेना को जरूरी कदम उठाने के लिए आजादी प्रदान की गयी है, वहीं भारत ने कूटनीतिक तरीकों से चीन को अपने रुख से स्पष्ट रूप से अवगत करा दिया है।’’ पीएम मोदी ने चीन के साथ छह सप्ताह से सीमा पर बने गतिरोध की स्थिति से जुड़े घटनाक्रम पर राजनीतिक दलों के नेताओं को जानकारी दी।
पीएम मोदी की इस चौंकाने वाली टिप्पणियों के बाद से कई लोगों ने सोशल मीडिया के जरिए पूछा कि, क्या भारत ने अब गलवान घाटी चीन को सौंप दिया है। लेकिन कई सशस्त्र बलों के दिग्गजों से पीएम मोदी ने बयान पर नाराजगी भी जताई। इस बीच, लेफ्टिनेंट जनरल (सेवानिवृत्त) रामेश्वर रॉय ने ट्वीट किया, “आज बहुत दुर्भाग्यपूर्ण दिन है !! मैं अपने तीन सितारों को धन्यवाद देता हूं कि मेरा बेटा सेना में नहीं है।”
Today is very unfortunate Day !! I thank my three stars that I am retired n my son in not in the Army!
— Lt Gen Rameshwar Roy (Retd.) Indian Army (@LtGen_Roy) June 19, 2020
भारतीय क्षेत्र पर कब्जा करने वाली चीनी सेना के बारे में सबसे पहले लिखने वाले कर्नल (सेवानिवृत्त) अजय शुक्ला ने अपने ट्वीट में लिखा, “क्या मैंने आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को टीवी पर चीन-भारतीय सीमा को फिर से देखते हुए देखा? मोदी ने कहा कि किसी ने भारतीय क्षेत्र में प्रवेश नहीं किया। क्या उन्होंने चीन की गलवान नदी घाटी और फिंगर्स को पैंगोंग त्सो में 4-8 से जीत दिलाई है- दोनों एलएसी के हमारी तरफ- और जहाँ अब चीनी सैनिक बैठते हैं।”
Did I see prime minister @narendramodi redrawing the Sino-Indian border on TV today? Modi said nobody entered Indian territory. Has he conceded to China the Galwan River valley and Fingers 4-8 in Pangong Tso — both on our side of the LAC — and where Chinese troops now sit. 1/4.
— Ajai Shukla (@ajaishukla) June 19, 2020
लेफ्टिनेंट जनरल (सेवानिवृत्त) प्रकाश मेनन ने ट्विटर पर लिखा, मोदी ने टोपी लगाई और कहा कि कुछ हुआ ही नहीं है (क्षेत्रीय नुकसान के संदर्भ में कुछ भी नहीं हुआ है)। हे भगवान। क्या देशद्रोह के मुकदमे के लिए उसका मुकदमा चल रहा है क्योंकि उसने सिर्फ चीन के रुख को दोहराया है। कानूनी / संवैधानिक स्थिति क्या है। मदद!
इस बीच, माइक्रोब्लॉगिंग साइट ट्विटर पर कई अन्य यूजर्स भी पीएम मोदी के इस बयान पर जमकर अपनी प्रतिक्रियाएं दे रहे हैं। वहीं दूसरी ओर ट्विटर पर हैशटैग #ModiSurrendersToChina और #ModiSurrendersGalwanValley भी टॉप ट्रेंड में चल रहा है।
गौरतलब है कि, पूर्वी लद्दाख की गलवान घाटी में सोमवार रात को चीनी और भारतीय सैनिकों के बीच हुई हिंसक झड़प में भारतीय सेना के एक कर्नल सहित 20 सैन्यकर्मी शहीद हो गए। नाथुला में 1967 में टकराव के बाद दोनों देशों की सेनाओं के बीच यह सबसे बड़ी झड़प है। उस समय भारत के लगभग 80 सैनिक शहीद हुए थे जबकि चीन की सेना के तीन सौ से अधिक सैनिक मारे गए थे। (इंपुट: भाषा के साथ)