जम्मू-कश्मीर में भारतीय जनता पार्टी(बीजेपी) और पीपल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) का गठबंधन टूटने के बाद वहां पर जोड़तोड़ को लेकर चल राजनीति के बीच पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ़्ती ने इशारों-इशारों में अपनी पूर्व सहयोगी बीजेपी और केंद्र सरकार को चेतावनी देते हुए कहा कि अगर दिल्ली ने पीडीपी को तोड़ने या कमजोर करने की कोशिश की तो उसे गंभीर परिणाम भुगतने होंगे। साथ ही उन्होंने कहा कि पीडीपी को तोड़ने की कोशिश न करें वरना कई और सलाउद्दीन पैदा होंगे।
file photoमहबूबा मुफ्ती ने शुक्रवार(13 जुलाई) को मीडिया से बात करते हुए बीजेपी पर निशाना साधा और कहा, 1987 की तरह अगर दिल्ली ने यहां (जम्मू-कश्मीर) की अवाम के वोट के अधिकार को छीनने की कोशिश की या किसी तरह की जोड़तोड़ की कोशिश करेगी तो इस बार परिणाम पहले से ज्यादा घातक और खतरनाक होंगे। साथ ही महबूबा ने कहा कि तब जिस तरह एक सलाउद्दीन और यासीन मलिक पैदा हुए थे, इस बार हालात और भी खराब होंगे। मैं समझती हूं कि केंद्र के बिना हस्तक्षेप के पार्टी में तोड़फोड़ नहीं की जा सकती।
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, महबूबा मुफ्ती के इस बयान पर जम्मू-कश्मीर बीजेपी इकाई के अध्यक्ष रवींद्र रैना ने ऐतराज जताया। रविंद्र रैना ने कहा कि महबूबा का बयान काफी आपत्तिजनक है। उन्होंने कहा कि बीजेपी किसी तोड़फोड़ की प्रक्रिया में नहीं लगी है।
देखिए वीडियो :
#WATCH: Former J&K CM M Mufti says'Agar Dilli ne 1987 ki tarah yahan ki awam ke vote pe daaka dala, agar iss kism ki tod fod ki koshish ki,jis tarah ek Salahuddin ek Yasin Malik ne janm liya…agar Dilliwalon ne PDP ko todne ki koshish ki uski nataish bahut zyada khatarnaak hogi' pic.twitter.com/LmC7V4OwN2
— ANI (@ANI) July 13, 2018
बता दें कि, इस साल जून में बीजेपी ने खुद को महबूबा मुफ्ती की गठबंधन वाली सरकार से अलग कर लिया था। इसके बाद अन्य पार्टियों ने राज्यपाल शासन का समर्थन किया था। लेकिन कयास लगाए जा रहे हैं कि बीजेपी अन्य पार्टियों के विधायकों को तोड़कर सरकार बनाने की कोशिश कर सकती है। हालांकि, आधिकारिक रूप से कोई भी इस बात को नहीं मान रहा है।
बता दें कि, पीडीपी-बीजेपी गठबंधन टूटने के बाद से पीडीपी के कई विधायक सार्वजनिक तौर पर महबूबा मुफ्ती के खिलाफ बयान दे चुके हैं। महबूबा मुफ्ती ने गुरुवार से बगावती नेताओं पर ऐक्शन लेना शुरू कर दिया है। पीडीपी ने विधान परिषद सदस्य यासिर रेशी को बांदीपुरा जिला अध्यक्ष पद से बर्खास्त कर दिया गया।
यासिर रेशी उन पीडीपी नेताओं में से एक हैं जिन्होंने सार्वजनिक रूप से महबूबा मुफ्ती की आलोचना की थी। पीडीपी में बगावत के सुर काफी तेज हो चुके हैं, जिसे लेकर जाहिर तौर पर महबूबा परेशान चल रहीं हैं।