आज यानी 8 नवंबर (बुधवार) को नोटबंदी के फैसले को एक साल पूरे हो गए हैं। इस पर देश की दोनों बड़ी पार्टियों के बीच सियासी तनातनी भी शुरू हो गई है। एक तरफ कांग्रेस के नेतृत्व में 18 विपक्षी पार्टियां नोटबंदी के एक वर्ष पूरा होने पर जहां ‘काला दिवस’ मना रही हैं, वहीं सत्तारूढ़ बीजेपी आज ‘कालाधन विरोधी दिवस’ (रिपीट कालाधन विरोधी दिवस) के रूप में जश्न मना रही है।
फाइल फोटो।इसके साथ ही नोटबंदी के फायदे गिनाने के लिए केंद्र सरकार के तमाम मंत्री देशभर में घूम रहे हैं। इसी कड़ी में केंद्रीय सूचना प्रौद्योगिकी और कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद ने मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में मंगलवार (7 नवंबर) को दावा किया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा नोटबंदी लागू किए जाने के बाद देश में देह व्यापार (वेश्यावृति) में कमी आई है।
NDTV की रिपोर्ट के मुताबिक केंद्रीय मंत्री ने गृह मंत्रालय से मिले आंकड़ों का हवाला देते हुए कहा कि जबसे देश में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नोटबंदी लागू की, कश्मीर में पत्थरबाजी की घटनाएं, नक्सली हमलों के साथ-साथ वेश्यावृत्ति के लिए महिलाओं की तस्करी भी कम हुई है।
हालांकि रविशंकर प्रसाद वेश्यावृति में आई कमी के अपने दावे के समर्थन में कोई आंकड़ा नहीं पेश किया। लेकिन यह जरूर कहा कि अब दलालों को नकद भुगतान नहीं होता है। रविशंकर दिल्ली से एक चार पन्नों का नोट लेकर आए थे। उन्होंने विस्तार से नोटबंदी के फायदे और उपलब्धियों पर चर्चा की।
हालांकि रविशंकर प्रसाद के दावों पर कांग्रेस ने सवाल उठाए हैं। कांग्रेस नेता मनीष तिवारी ने ट्विटर पर लिखा है कि अगर वास्तव में रविशंकर प्रसाद का दावा सच है तो माननीय कानून मंत्री कृपया हमें बता सकते हैं कि कौन सा सरकारी विभाग वेश्याओं पर नजर रखता है और उनकी आय का आंकलन करता है। देश जानना चाहता है।
If this is indeed true and @rsprasad actually said it could the Hon’ble Law Minister please enlighten us which government department tracks prostitutes & keeps a tab on their earnings. The nation wants to know ???❤️❣️ https://t.co/ViuuwxjcUt
— Manish Tewari (@ManishTewari) November 8, 2017
रविशंकर प्रसाद ने अपने चार पन्नों के नोट से देखकर बताया कि नोटबंदी के बाद जो 99 फीसदी राशि बैंकों में वापस आई है, वो सारी सफेद नहीं है। उन्होंने बताया कि 23 लाख बैंक खातों में जमा 3.68 करोड़ नकदी की जांच चल रही है। 17.73 लाख पैन कार्ड धारकों की जांच की जा रही है, 4.7 लाख लेन-देन भी संदिग्ध बताए गए हैं। 16000 करोड़ रुपये वापस नहीं आए हैं, जबकि 29,213 करोड़ रुपये की अघोषित आया छापों के दौरान पकड़ी गई।
उन्होंने कहा कि सिर्फ 1.5 लाखों लोगों ने कुल मुद्रा का एक तिहाई यानी 5 लाख करोड़ रुपये जमा करा दिए. 2.24 लाख शेल कंपनियों का पंजीयन रद्द किया गया है। केंद्रीय मंत्री ने आंकड़ों के आधार पर दावा किया कि 2013-14 में 220 करोड़ रुपये का डिजिटल भुगतान हुआ, जबकि 2016-17 में यह 1076 करोड़ रुपये पर पहुंच गया। इनकम टैक्स देने वाले 26.6 फीसद तक बढ़ गए।
कार, मोटर साइकिल, फोन कनेक्शन, हवाई सफर में मुसाफिरों की संख्या सब बढ़ गए हैं। इस दौरान उन्होंने यूपीए सरकार के कार्यकाल में घोटालों के आरोप गिनवाए। साथ ही प्रसाद ने दावा किया कि मोदी सरकार के 3 साल के शासन में कोई घोटाला नहीं हुआ है। प्रसाद ने यह सवाल भी उठाया कि कांग्रेस को ईमानदारी से चिढ़ क्यों है।