हमने गलतियां की हैं और उसे सुधारेंगे, ऐक्शन लेने की जरूरत है, बहाने बनाने का नहीं: अरविंद केजरीवाल

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दिल्ली नगर निगम(MCD) चुनाव में करारी हार के बाद दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने पहली बार चुप्पी तोड़ते हुए शनिवार (29 अप्रैल) को ट्विटर पर जारी एक पत्र में गलती स्वीकार की है। साथ ही उन्होंने कार्यकर्ताओं का आह्वान किया है कि मिलकर आत्मचिंतन करें और गलती सुधारें। खास बात यह है कि केजरीवाल ने कहा है कि यह गलती सुधारने का वक्त है न कि ‘बहाने’ बनाने का।

फाइल फोटो।

दिल्ली के सीएम ने कहा कि ‘पिछले दो दिनों में मैंने कई कार्यकर्ताओं और मतदाताओं से बात की है। वास्तविकता यह है कि हमने गलतियां की हैं। हम इन गलतियों पर आत्मचिंतन करेंगे और उसे सुधारेंगे। उन्होंने आगे लिखा है कि हमारी जिम्मेदारी कार्यकर्ताओं और मतदाताओं के प्रति है।

केजरीवाल ने आगे कहा है कि अब समय आ गया है कि हम अपनी गलतियों को सुधारे, यह करना जरूरी है। हमें चिंतन करना होगा। उन्होंने कहा कि अब ऐक्शन लेने की जरूरत है, बहाने बनाने का नहीं। हमें फिर से अपने काम में लग जाना चाहिए।

AAP प्रमुख ने आगे कहा कि समय-समय पर हम फिसले हैं, लेकिन अहम यह होगा कि हम खुद को पहचाने और उठ खड़े हों तथा वापसी करें। केजरीवाल ने दिल्लीवालों को भरोसा दिया है कि हार का उनकी सरकार के काम पर कोई असर नहीं पड़ेगा। उन्होंने कहा कि वह बदलाव के रास्ते पर आगे बढ़ते रहेंगे और लोगों को वह देने की कोशिश करेंगे जिसके वह हकदार हैं।

गौरतलब है कि MCD चुनाव में आम आदमी पार्टी (AAP) और कांग्रेस को करारी शिकस्त देते हुए भारतीय जनता पार्टी(बीजेपी) प्रचंड जीत हासिल की है। 26 अप्रैल को आए नतीजों में बीजेपी को 181 सीटें मिलीं, जबकि ‘आप’ 48 सीटों के साथ दूसरे और 30 सीटों के साथ कांग्रेस तीसरे पायदान पर खिसक गई।

पूर्वी दिल्ली(63 वार्ड) नगर निगम में बीजेपी ने 47, आप ने 11 और कांग्रेस ने 3 वार्ड जीते। वहीं, दक्षिणी दिल्ली(104 वार्ड) निगम में बीजेपी को 70, आप को 16 और कांग्रेस को 12 वार्डो पर जीत मिली। उत्तरी दिल्ली निगम(103 वार्ड) में बीजेपी ने 64, आप ने 21 और कांग्रेस ने 15 वार्ड जीते।

वहीं, दो साल में ‘आप’ का वोट प्रतिशत आधा हो गया है। 2015 के विधानसभा में ‘आप’ को 54.3 फीसदी वोट मिले थे। लेकिन निगम चुनाव में 26.23 प्रतिशत मिले हैं। वहीं, कांग्रेस का वोट प्रतिशत बढ़ा है। विधानसभा चुनाव में उसे 9.7 फीसदी वोट मिले थे। जबकि, निगम चुनाव में पार्टी को 21.11 प्रतिशत वोट मिले हैं। वहीं, बीजेपी का वोट प्रतिशत 4 फीसदी बढ़ा है। उसे 36.18 फीसदी वोट मिले हैं।

 

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