नागरिकता संशोधन विधेयक राज्यसभा में 105 के मुकाबले 125 मतों से पास हो गया। अब इस बिल को राष्ट्रपति की मंजूरी के लिए भेजा जाएगा। राष्ट्रपति के हस्ताक्षर के बाद यह बिल कानून में तब्दील हो जाएगा। बता दें कि, इस बिल को सोमवार रात को लोकसभा से मंजूरी मिली थी।
बुधवार दोपहर में गृह मंत्री अमित शाह ने विपक्षी सदस्यों के भारी हंगामे के बीच इस बिल को सदन में रखा। अमित शाह ने कहा कि आज में एक ऐतिहासिक बिल लेकर सदन में उपस्थित हुआ हूं। इस बिल के प्रावधान में, लाखों करोड़ों लोग जो नर्क की यातना का जीवन जी रहे हैं, उन्हें नई आशा दिखाने का ये बिल है। कांग्रेस समते कई विपक्षी दलों ने तथ्यों और संविधान के मूल्यों के आधार पर इस बिल का जमकर विरोध किया।
नागरिकता संशोधन विधेयक के पास होने पर कांग्रेस की कार्यकारी अध्यक्ष सोनिया गांधी ने कहा कि आज का दिन भारत के संवैधानिक इतिहास में एक काले दिन के तौर पर दर्ज होगा। उन्होंने कहा कि इस विधेयक के राज्यसभा से पास होने से भारत की बहुलता पर संकीर्ण और दूषित मानसिकता वालों की जीत हुई है। अपने बयान में उन्होंने कहा कि बुनियादी तौर पर यह विधेयक उस विचार को चुनौती देता है, जिसके लिए हमारे पूर्वजों ने लंबी लड़ाई लड़ी थी। उन्होंने कहा कि यह विधेयक एक विभाजित भारत का निर्माण करता है, जहां धर्म राष्ट्रवाद का निर्धारक बन जाएगा।
Congress Interim President Sonia Gandhi: Today marks a dark day in the constitutional history of India. #CitizenshipAmendmentBill2019 https://t.co/WmiN8R29mm
— ANI (@ANI) December 11, 2019