लोकसभा से तीन तलाक बिल को मंजूरी दिलाने के बाद अब केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार मंगलवार को राज्यसभा में विधेयक पेश करेगी। इस बिल को पास कराने के लिए भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने अपने सभी सांसदों को व्हिप जारी किया है। लोकसभा से सरकार ने इस विधेयक को कांग्रेस, समाजवादी पार्टी, तृणमूल कांग्रेस और डीएमके के वॉकआउट के बावजूद आसानी से पास करा लिया था। 16वीं लोकसभा में भी सरकार ने मुस्लिम महिला (विवाह अधिकार संरक्षण) विधेयक को निचले सदन से मंजूरी दिला दी थी, लेकिन राज्यसभा में यह गिर गया था।
File Photo: APकेंद्रीय मंत्री प्रल्हाद जोशी ने कहा कि तीन तलाक बिल आज दोपहर 12 बजे राज्यसभा में पेश किया जाएगा। आज हमारे पास 11 विधेयक लंबित हैं। अब तक लोकसभा और राज्यसभा दोनों में 15 विधेयक पारित किए जा चुके हैं। उन्होंने कहा कि छह बिल केवल लोकसभा में और चार बिल केवल राज्यसभा में पारित किए गए हैं।
Union Minister Pralhad Joshi: Triple Talaq bill will be tabled in Rajya Sabha at 12 pm today. We have 11 bills pending to be passed today. So far, 15 bills have been passed in both Lok Sabha & Rajya Sabha. 6 bills have been passed only in Lok Sabha and 4 bills only in Rajya Sabha pic.twitter.com/tTJ8D7iyKf
— ANI (@ANI) July 30, 2019
बता दें कि तीन तलाक बिल को राज्यसभा में संशोधित कार्यसूची में डाला गया है। राज्यसभा में राजग यानी एनडीए को बहुमत नहीं है। वहीं, भाजपा की सहयोगी जनता दल यूनाईटेड (JDU) बिल के खिलाफ है। हालांकि, सरकार को बीजेडी के समर्थन की उम्मीद है। तीन तलाक बिल 25 जुलाई को लोकसभा में विपक्ष के भारी विरोध के बीच पारित हो चुका है और इसे अब कानून में तब्दील होने और अध्यादेश की जगह लेने के लिए राज्यसभा की मंजूरी पानी होगी। अब मोदी सरकार के सामने तीन तलाक बिल को राज्यसभा में पारित कराने की चुनौती है।
सत्ताधारी दल बीजेपी ने तीन तलाक विधेयक पर वोटिंग के लिए अपने सांसदों को व्हिप जारी किया है। बता दें कि राज्यसभा में विपक्ष अंकगणित के मामले में भारी है और भाजपा की सहयोगी पार्टी जेडीयू ने भी इस मसले पर उसके खिलाफ वोट देने की बात कही है। ऐसे में भाजपा के लिए राज्यसभा से इस विधेयक को पारित कराना एक बार फिर से चुनौती होगा। इस विधेयक में एक बार में तीन तलाक देने वाले मुस्लिमों को तीन साल तक के कारावास की सजा का प्रावधान है।
BJP की सहयोगी JDU करेगी विरोध
राज्यसभा में तीन तलाक संबंधी विधेयक को पारित कराने के सरकार के प्रयासों को उस समय झटका लगा जब भाजपा के सहयोगी दल जदयू ने शनिवार को कहा कि वह राज्यसभा में इस विधेयक का विरोध करेंगे। जदयू प्रवक्ता के सी त्यागी ने विधेयक की निंदा करते हुए कहा कि यह ‘‘थोपे जाने वाली प्रकृति’’ का है और ‘‘निश्चित रूप से समाज में विश्वास की कमी पैदा करेगा।’’ उन्होंने जोर देकर कहा, ‘‘हम विधेयक का विरोध करेंगे।’’
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार नीत जदयू ने लोकसभा में विधेयक के समर्थन में वोट नहीं किया था और बहिर्गमन किया था। हालांकि इससे बहुत ज्यादा फर्क नहीं पड़ा, क्योंकि भाजपा के पास निचले सदन में अपने पास मजबूत बहुमत हासिल है। जदयू राज्यसभा में भी इसी तरह का रुख अपना सकती है। राज्यसभा में विधेयक पारित कराने के लिए संख्या जुटाना भाजपा के लिए चुनौती है, क्योंकि उसके पास इस सदन में बहुमत नहीं है और वह बीजद, टीआरएस और वाईएसआर कांग्रेस जैसे दलों पर निर्भर है जिनका न तो भाजपा नीत राजग और ना ही विपक्ष की तरफ झुकाव है।