उत्तर प्रदेश में नॉनवेज खाने वालों को आज परेशानी का सामना करना पड़ सकता है। जी हां, दरअसल यूपी में योगी आदित्यनाथ के सीएम बनने के बाद अवैध बूचड़खानों के खिलाफ हो रही कार्रवाई के विरोध में मांस कारोबारी आज(27 मार्च) से अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले गए हैं। व्यापारियों का कहना है कि बूचड़खानों पर कार्रवाई के कारण लाखों लोगों की रोजीरोटी पर संकट पैदा हो गया है।
फोटो: HTहालांकि, ये हड़ताल अघोषित तौर पर दो दिन पहले से ही चल रही है, लेकिन आज से इसे राज्य भर में लागू किया जा रहा है। साथ ही मटन और चिकन विक्रेताओं के बाद अब मछली कारोबारियों ने भी इस बेमियादी हड़ताल में शामिल होने का ऐलान कर दिया है, जिस वजह से नॉनवेज का संकट और बढ़ गया है।
लखनऊ बकरा गोश्त व्यापार मण्डल के पदाधिकारी मुबीन कुरैशी ने कहा कि हमने अपनी हड़ताल को और तेज करने का फैसला किया है। मांस की सभी दुकानें बंद रहेंगी। साथ ही मछली व्यापारियों ने भी इस हड़ताल में शामिल होने की घोषणा की है।
वहीं, यूपी सरकार के प्रवक्ता सिद्धार्थनाथ सिंह ने कहा कि यह कार्रवाई केवल अवैध बूचड़खानों पर ही है। जिनके पास लाइसेंस है उन्हें डरने की जरूरत नहीं है। सरकार ने चिकन और अंडे की दुकानों को बंद करने का निर्देश नहीं दिया है। इस तरह की खबरों पर यकीन न करें।
दरअसल, यूपी में योगी आदित्यनाथ की सरकार बनते ही अवैध बूचड़खानों पर कार्रवाई का सिलसिला तेज हो गया है। राजधानी लखनऊ समेत राज्य के कई जिलों में बूचड़खाने बंद किए जाने की वजह से मांसाहार परोसने वाले होटलों और रेस्त्रां में मटन और चिकन का इस्तेमाल किया जा रहा था।
अब मटन और चिकन बेचने वालों की हड़ताल की वजह से ये सभी प्रतिष्ठान बंदी की कगार पर पहुंच गए हैं। इतना ही इसका असर लखनऊ के मशहूर टुंडे कबाबी की दुकान पर भी देखने को मिल रहा है। पिछले 110 सालों में पहली बार भैंसे के मीट की कमी होने की वजह से 22 मार्च को टुंडे कबाबी की दुकान बंद रही। हालांकि, लखनऊ में नॉनवेज होटल चलाने वाले कई व्यापारी अवैध बूचड़खाने बंद किए जाने का स्वागत किए हैं।