VIDEO: संवैधानिक पद की गरिमा को दरकिनार कर राज्यपाल कल्याण सिंह बोले- ‘हम सभी BJP के कार्यकर्ता हैं, नरेंद्र मोदी को एक बार फिर प्रधानमंत्री बनते देखना चाहते हैं’

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राजस्थान के राज्यपाल कल्याण सिंह के एक बयान ने राजनीतिक गलियारों में हलचल मचा दी है। राज्यपाल जैसे संवैधानिक पद की गरिमा को दरकिनार कर अलीगढ़ में पत्रकारों से बातचीत के दौरान उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कल्याण सिंह ने ऑन कैमरा लोकसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) की जीत की ख्वाहिश जाहिर की है। इतना नहीं उन्होंने इस दौरान कहा कि देश के लिए यह काफी अहम है कि नरेंद्र मोदी एक बार फिर प्रधानमंत्री बनें। साथ ही उन्होंने खुद बीजेपी कार्यकर्ता भी बता दिया।

राज्यपाल कल्याण सिंह ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की खुलकर तारीख की और कहा है कि उनका दोबारा चुना जाना देश और समाज की जरूरत है। सिंह ने कहा कि हम सभी भारतीय जनता पार्टी के कार्यकर्ता हैं और हमारा उद्देश्य नरेंद्र मोदी को एक बार फिर से प्रधानमंत्री बनाना है। दरअसल, यह बातें कल्याण सिंह ने कैमरे के सामने कहीं, जिसके बाद यह वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया है। संवैधानिक पद पर बैठे किसी भी व्यक्ति का इस तरह का बयान बेहद विवादास्पद है।

राज्यपाल कल्याण सिंह ने 23 मार्च को यूपी के अलीगढ़ में मीडियाकर्मियों से बातचीत करते हुए कहा, ‘हम सभी लोग भारतीय जनता पार्टी के कार्यकर्ता हैं। इस वजह से हम जरूर चाहेंगे कि बीजेपी विजयी हो और सब चाहेंगे कि केंद्र में मोदीजी एक बार फिर प्रधानमंत्री बनें। उनका प्रधानमंत्री बनना देश और समाज के लिए महत्वपूर्ण है।’ कल्याण सिंह ने यह बयान उस संबंध में दिया, जब नाराज बीजेपी कार्यकर्ताओं ने राज्यपाल के सामने प्रत्याशी सांसद सतीश गौतम को लेकर विरोध प्रदर्शन किया था।

बताया जा रहा है कि कल्याण ने नाराज बीजेपी कार्यकर्ताओं को नसीहत देते हुए यह टिप्पणी की। बता दें कि 6 दिसंबर 1992 को बाबरी मस्जिद के विध्वंस के दौरान उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री रहे सिंह को नरेंद्र मोदी के प्रधानमंत्री बनने के बाद राजस्थान का राज्यपाल बनाया गया था। पिछले साल के विधानसभा चुनावों में बीजेपी की हार के बाद राजस्थान में अब कांग्रेस के नेतृत्व वाली सरकार है।

सिंह का यह बयान इसलिए भी विवादों का सबब बन सकता है, क्योंकि राष्ट्रपति और राज्यपाल का पद एक संवैधानिक पद होता है और इस पद पर बैठे शख्स से किसी राजनीतिक पार्टी के प्रति झुकाव की अपेक्षा नहीं की जाती है। ऐसे में सवाल उठ रहे हैं कि राज्यपाल जैसे संवैधानिक पद पर रहते हुए कल्याण सिंह का खुद को बीजेपी का कार्यकर्ता बताना और नरेंद्र मोदी को एक बार फिर प्रधानमंत्री बनाने की कामना करना कहां तक तर्कसंगत है।

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