दिल्ली चुनाव: 50 हारे प्रत्याशियों के साथ बैठक में BJP का आंतरिक आकलन, दलितों और सिखों का नहीं मिला समर्थन

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दिल्ली विधानसभा चुनाव में भाजपा के प्रदर्शन को लेकर आंतरिक आकलन के लिए शुक्रवार को हुई बैठक के मुताबिक दलित और सिख समुदाय ने समर्थन नहीं किया, इसलिए पार्टी को करारी हार का सामना करना पड़ा। सूत्रों ने बताया कि इस बैठक में दिल्ली भाजपा प्रदेश के अध्यक्ष मनोज तिवारी, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष और दिल्ली के प्रभारी श्याम जाजू और दिल्ली भाजपा के महासचिव (संगठन) सिद्धार्थन ने हिस्सा लिया।

समाचार एजेंसी भाषा की रिपोर्ट के मुताबिक, दिल्ली भाजपा के एक वरिष्ठ नेता ने बताया कि दिल्ली विधानसभा चुनाव के लिए पार्टी प्रभारी और केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर भी कुछ समय तक बैठक में उपस्थित रहे। उन्होंने कहा, ‘‘इस बैठक में करीब 50 पार्टी प्रत्याशी भी शामिल हुए जिन्हें चुनाव में हार मिली थी। कई लोगों ने बैठक में रेखांकित किया कि उनके विधानसभा क्षेत्रों में दलित और सिख मतदाताओं ने समर्थन नहीं दिया।’’

सूत्रों ने बताया कि कुछ प्रत्याशियों ने टिकट घोषणा में देरी, घोषणापत्र जारी करने में विलंब और जिन नेताओं को टिकट नहीं मिला, उनकी भूमिका को भी हार की वजह के रूप में रेखांकित किया।पार्टी के एक प्रत्याशी ने बताया कि बैठक में मौजूद वरिष्ठ नेताओं ने उम्मीदवारों को भरोसा दिलाया कि उनके आकलन के आधार पर कार्रवाई योग्य रिपोर्ट तैयार पर भाजपा नेतृत्व को सौंपी जाएगी। सूत्रों ने बताया कि बैठक में शामिल नहीं होनेवाले प्रत्याशियों से पार्टी सफाई मांगेगी।

गौरतलब है कि, दिल्ली विधानसभा चुनाव के नतीजों में आम आदमी पार्टी को जबरदस्त जीत हासिल हुई थी। दिल्ली की 70 सीटों में से उसने 62 पर अपना कब्जा जमाया है। जबकि पूरी ताकत झोंकने के बावजूद भाजपा को महज 8 सीटों पर संतोष करना पड़ा। जबकि चुनाव अभियान के दौरान भाजपा के सभी नेता कम से कम 48 सीटें जीतने का दावा कर रहे थे। वहीं, कांग्रेस एक बार फिर शून्य पर आउट हो गई। कांग्रेस का कोई उम्मीदवार चुनाव नहीं जीत सका। इसके साथ ही कांग्रेस को मिलने वाले वोटों के प्रतिशत में भी भारी कमी दर्ज की गई है।

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