विवादित नागरिकता (संशोधन) विधेयक संसद में पारित होने के बाद उपजे हालात को देखते हुए बांग्लादेश के विदेश मंत्री ए के अब्दुल मोमेन ने गुरुवार से शुरू होने वाला अपना भारत का तीन दिवसीय दौरा रद्द कर दिया है। बांग्लादेश के विदेश मंत्री 12 से 14 दिसंबर के बीच वे भारत के दौरे पर आने वाले थे।

उन्होंने कहा कि हमारे राज्य मंत्री मैड्रिड में हैं। विदेश सचिव हेग में हैं। इसलिए मैं ‘बुद्धिजीवी देबोश’ में हिस्सा नहीं ले पाऊंगा। उन्होंने कहा कि मैं अपने महानिदेशक को कार्यक्रम में हिस्सा लेने के लिए भेज रहा हूं। बांग्लादेश के विदेश मंत्री एके अब्दुल मोमेन ने ऐसे समय में भारत का दौरा रद्द किया जब देश के अलग-अलग हिस्सों में नागरिकता संशोधन बिल के खिलाफ प्रदर्शन हो रहा है। मोमेन खुद इस बिल को लेकर कड़ी आपत्ति जता चुके हैं।
बता दें कि, इससे पहले मोमीन ने नागरिकता संशोधन बिल को लेकर नाराजगी जताई थी। नागरिकता संशोधन बिल को लेकर बांग्लादेश के विदेश मंत्री एके अब्दुल मोमीन ने कहा था कि उनके देश में अल्पसंख्यकों के साथ बराबरी का बर्ताव हो रहा है। जो बातें भारत की ओर से कही गई हैं वो गलत हैं।
Bangladesh Foreign Minister AK Abdul Momen: Given increasing demand at home, I have decided to cancel the visit. However, I am looking forward to attending the next meeting in January. I am sending our DG to attend the event. https://t.co/A0uHXuU73u
— ANI (@ANI) December 12, 2019
नागरिकता संशोधन विधेयक लोकसभा के बाद बुधवार को राज्यसभा में भी पारित हो गया। बिल पारित होने के बाद से ही असम में हालात लगातार चिंताजनक बने हुए हैं और अनिश्चितकालीन कर्फ्यू तथा इंटरनेट सेवाएं बंद होने से सैकड़ों यात्री गुवाहाटी हवाई अड्डे पर फंसे हुए हैं। इसको लेकर असम और पूर्वोत्तर के कई राज्यों में विरोध प्रदर्शन हो रहा है।
बता दें कि, नागरिकता संशोधन बिल बुधवार को राज्यसभा से भी गर्मा गरम बहस के बाद पास हो गया। बिल के पक्ष में 125 और विपक्ष में 105 वोट पड़े। अब इस बिल को राष्ट्रपति की मंजूरी के लिए भेजा जाएगा। राष्ट्रपति के हस्ताक्षर के बाद यह बिल कानून में तब्दील हो जाएगा। इस बिल में पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान से आए हिंदू, जैन, सिख, बौद्ध, पारसी और ईसाई समुदाय के शरणार्थियों को नागरिकता का प्रस्ताव है।