शर्मनाक लेकिन सच, जब कुछ भारतियों को पीवी सिंधु की ऐतिहासिक जीत से ज़्यादा उनकी जाति के बारे में जानने की ज़्यादा चिंता थी

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रियो ओलंपिक में भारत की तरफ से धमाल मचाने वाली बैडमिंटन खिलाड़ी पीवी सिंधू ने जहां सिल्वर जीत कर भारत को गौरांवित किया और भारत की तरफ से ओलंपिक में सिल्वर जीतने वाली पहली महिला बनी, वहीँ कुछ भारतीय ऐसे थे जिन्हें इस सितारे की कामयाबी से ज़्यादा उनकी जाति की चिंता थी।

और गूगल इंडिया पर सबसे अधिक सर्च करने वाली खिलाड़ीयों में शीर्ष स्थान हासिल करने वाली सिंधू के बारे में आप ये जानकर हैरान हो जाएंगे कि गूगल पर सिंधू की कॉस्ट को सबसे अधिक सर्च किया गया है।

वो भी भारत की ज़ातिगत मानसिकता का कही ना कही शिकार बन गई इसका ताज़ा उदाहरण देखने को मिला पीवी सिंधू के गूगल सर्च में।

वहीँ कुछ लोग ऐसे भी थे जिन्हों ने सिंधु को ब्राह्मण समाज का नाम रोशन करने केलिए बधाई भी दी।

ये ताज़ा उदाहरण दर्शाता है कि इकीसवीं सदी के भारत में अब भी लोगों की मानसिकता ठीक पहले की तरह संकीर्ण है और शिक्षा दर में वृद्धि के बावजूद जाति के प्रति लोगों के विचार अब भी दक्यानुसी हैं।

 

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