जम्मू एवं कश्मीर के बदगाम जिले में सेना द्वारा दो लड़कों की कथित हिरासत और पिटाई के खिलाफ रविवार (26 मई) को बड़ी संख्या में लोग सड़कों पर उतर आए। प्रदर्शनकारियों ने आरोप लगाया कि आतंकवादी कमांडर जाकिर मूसा की हत्या के बाद हुए प्रदर्शनों के दौरान सेना ने एक कैंप में धरमुना गांव के कुछ युवकों को हिरासत में लिया। दोनों लड़कों को उनके परिवार वालों को सौंप दिया गया। इनमें से एक के परिजनों ने कहा कि दोनों लड़कों को सेना के जवानों ने बेरहमी से पीटा है।
File Photo: APसमाचार एजेंसी आईएएनएस की रिपोर्ट के मुताबिक, सोइबग गांव के 14 वर्षीय फाजिल फयाज मलिक को शेर-ए-कश्मीर इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज (एसकेआईएमएस) के लिए रेफर किया गया। सिर पर चोट लगने की वजह से उसका ऑपरेशन किया गया। एक डॉक्टर ने कहा, ‘उसे जीवन रक्षक सुविधा पर रखा गया है, उसकी हालत गंभीर है।’
स्थानीय लोगों ने यह भी आरोप लगाया है कि पहले जब वे हिरासत में लिए गए लड़कों की रिहाई की मांग करते हुए सेना के शिविर में पहुंचे, तो उन्हें बताया गया कि लड़कों को पुलिस को सौंप दिया गया है। एक पुलिस अधिकारी ने कहा कि उनकी हिरासत में अब केवल तीन लड़के हैं।
रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता कर्नल राजेश कालिया ने आईएएनएस को बताया कि सेना आरोप के विवरण का पता लगा रही है और जल्द ही तथ्यों की जानकारी दी जाएगी।