कांग्रेस के निलंबित नेता मणिशंकर अय्यर के घर पाकिस्तान उच्यायुक्त और वहां के पूर्व विदेश मंत्री के साथ मुलाकात पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तरफ से गुजरात चुनाव में पाकिस्तानी हस्तक्षेप के लगाए गए आरोपों को पूर्व पीएम मनमोहन सिंह ने बेबुनियाद करार दिया है। इस मीटिंग को गुजरात चुनाव से जोड़ने से पूर्व प्रधानमंत्री काफी आहत और नाराज हैं।सिंह ने अपनी इस पीड़ा को एक बयान के जरिए जारी करते हुए सोमवार (11 दिसंबर) को कहा कि पीएम के बयान पर हमें दुख और गुस्सा हुआ है। सिंह ने कहा कि मणिशंकर के यहां किसी से गुजरात चुनाव पर बात नहीं हुई है। चुनावों में अपनी हार की आशंका से पीएम मोदी बौखला गए हैं।
मनमोहन ने कहा कि पीएम मोदी ने एक खतरनाक परंपरा की शुरुआत की है। कांग्रेस को राष्ट्रवाद पर किसी के ज्ञान की जरूरत नहीं है। दरअसल चुनावी प्रचार के दौरान रविवार (10 दिसंबर) को प्रधानमंत्री मोदी ने गुजरात चुनाव में पाकिस्तान का ‘हाथ’ होने का आरोप लगाया था। पीएम मोदी ने दावा किया कि पाकिस्तान गुजरात चुनाव में हस्तक्षेप करने की कोशिश कर रहा है।
Statement from Former Prime Minister Dr. Manmohan Singh on the falsehoods being spread to score political points, in a lost cause by PM Modi. pic.twitter.com/X20X3oeeYw
— Congress (@INCIndia) December 11, 2017
प्रधानमंत्री मोदी ने दावा किया कि विपक्षी दल के नेताओं ने मणिशंकर अय्यर के उन्हें ‘नीच’ कहने से एक दिन पहले (6 दिसंबर) पाकिस्तान के मौजूदा एवं पूर्व अधिकारियों के साथ एक गुप्त बैठक की थी। पीएम मोदी ने इस मुलाकात पर सवाल उठाते हुए उसे गुजरात चुनाव से जोड़ दिया। पीएम मोदी ने कहा कि गुजरात चुनाव में पाकिस्तान दखल दे रहा है।
मनमोहन सिंह ने पलटवार करते हुए एक बयान जारी कर पीएम मोदी की पाकिस्तान यात्रा का भी जिक्र किया और कहा कि, ‘मैं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को याद दिला दूं कि ऊधमपुर और गुरदासपुर में आतंकवादी हमले के बाद बिना बुलाए पाकिस्तान गए। उन्हें देश को यह भी बताना चाहिए कि आतंकवादी हमले की जांच के लिए पाकिस्तान की कुख्यात एजेंसी आईएसआई को पठानकोट एयरबेस में क्यों बुलाया गया?’
मनमोहन सिंह ने कहा कि 5 दशक के सार्वजनिक जीवन का उनका ट्रैक रिकॉर्ड सबको पता है और मोदी सहित कोई भी उनपर सवाल नहीं उठा सकता। पीएम मोदी के आरोपों से खुद को दुखी बताते हुए पूर्व पीएम ने कहा, ‘मणिशंकर अय्यर के द्वारा आयोजित डिनर में मैंने किसी के साथ गुजरात चुनाव पर चर्चा नहीं की। यह मुद्दा किसी दूसरे के द्वारा भी नहीं उठाया गया। चर्चा भारत-पाकिस्तान रिश्तों तक सीमित थी।’ उन्होंने पीएम मोदी से माफी की मांग करते हुए उम्मीद जताई कि वह गंभीरता दिखाएंगे।
मनमोहन सिंह ने बैठक में शामिल लोगों के नाम भी बताए हैं। इस सूची में कुल 19 लोगों के नाम हैं। जिनमें मणिशंकर अय्यर और उनकी पत्नी, खुर्सीद कसूरी, हामिद अंसारी, डॉ. मनमोहन सिंह, के. नटवर सिंह, केएस बाजपेयी, अजय शुक्ला, शरद सभरवाल, जनरल दीपक कपूर, टीसीए राघवन, सती लांबाह, पाकिस्तानी उच्चायुक्त, एमके भद्रकुमार, सीआर घरेखान, प्रेम शंकर झा, सलमान हैदर और राहुल खुशवंत सिंह का नाम शामिल है।
वहीं पीएम मोदी के आरोपों पर पाकिस्तान ने भी पलटवार किया है। पाकिस्तान का कहना है कि अपनी चुनावी बहस में भारत पाकिस्तान को न खींचे। पाकिस्तान विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता डॉ. मोहम्मद फैजल ने अपने ट्विटर हैंडल पर लिखा “भारत को अपने चुनावी बहस में पाकिस्तान को बीच में नहीं घसीटना चाहिए। उन्हें अपने दम पर जीत हासिल करनी चाहिए, बजाए इसके कि वे मनगढ़ंत षड़यंत्र रचें जो कि पूरी तरह से निराधार और गैरजिम्मेदार है।”
India should stop dragging Pakistan into its electoral debate and win victories on own strength rather than fabricated conspiracies, which are utterly baseless and irresponsible.
— Spokesperson ???????? MoFA (@ForeignOfficePk) December 11, 2017
पूर्व सेनाप्रमुख ने भी मोदी के आरोपों को किया खारिज
मनमोहन सिंह के अलावा भारतीय सेना के पूर्व सेनाप्रमुख (सेवानिवृत्त) दीपक कपूर ने भी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कथित ‘झूठ’ को उजागर किया है। पूर्व सेनाध्यक्ष दीपक कपूर ने खुद के इस बैठक में मौजूद रहने की पुष्टि की है, लेकिन उन्होंने पीएम मोदी के गुजरात चुनाव में हस्तक्षेप वाले आरोपों को खारिज कर दिया है। एक अखबार से बातचीत में कपूर ने कहा कि हां, मैं इस बैठक का हिस्सा था। कपूर ने कहा कि इस मीटिंग में भारत-पाकिस्तान संबंधों के अलावा अन्य किसी मुद्दे पर चर्चा नहीं हुई। 23वें सेनाध्यक्ष के तौर पर दीपक कपूर मार्च, 2010 में अपने पद से रिटायर हुए थे।