नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) और नेशनल रजिस्टर ऑफ सिटिजन (एनआरसी) को लेकर इन दिनों देश के कई राज्यों में जमकर विरोध प्रदर्शन हो रहा है। उत्तर प्रदेश, गुजरात, दिल्ली, कर्नाटक, पश्चिम बंगाल, असम के साथ ही बिहार में भी इस पर जबरदस्त विरोध देखने को मिल रहा है। बीते गुरुवार को उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में भी हिंसक प्रदर्शन हुए। इस दौरान अभिनेत्री, कांग्रेस नेता और एक्टिविस्ट सदफ जफर को फेसबुक लाइव के दौरान पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया।
सदफ जफर को लखनऊ के परिवर्तन चौक से गिरफ्तार किया गया। इसी जगह पर प्रदर्शनकारियों ने बसों, मीडिया की गाड़ियों और प्राइवेट गाड़ियों को आग के हवाले किया था। सदफ को जिस समय गिरफ्तार किया गया, उस समय वह फेसबुक पर लाइव आते हुए प्रदर्शनकारियों द्वारा की गई हिंसा की तस्वीरों को दिखा रही थीं। जिसके कुछ ही देर में एक महिला पुलिसकर्मी उन्हें पकड़ लेती है और अपने साथ ले जाती है।
मशहूर फिल्ममेकर मीरा नायर ने उनकी रिहाई की मांग की है। मीरा नायर ने उन्हें तत्काल रिहा करने की मांग करते हुए ट्विटर पर लिखा, “ये अब हमारा भारत है। फिल्म सूटेबल बॉय की एक्ट्रेस सदफ जफर को शांतिपूर्ण तरीके से प्रदर्शन करने के बदले पीटा गया और जेल भेज दिया गया। उनकी रिहाई की मांग के लिए मेरे साथ जुड़िए।”
कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने भी सदफ जफर की रिहाई की मांग की है। कांग्रेस महासचिव ने अपने ट्वीट में लिखा, “हमारी महिला कार्यकर्ता सदफ ज़फ़र पुलिस को बता रही थीं कि उपद्रवियों को पकड़ो और उन्हें यूपी पुलिस ने बुरी तरह से मारा पीटा व गिरफ्तार कर लिया। वह दो छोटे-छोटे बच्चों की मां हैं। ये सरासर ज्यादती है। इस तरह का दमन एकदम नहीं चलेगा।” उन्होंने अपने ट्वीट में आगे लिखा, “हमारी महिला कार्यकर्ता को तुरंत रिहा करिए।”
Posted by Sadaf Jafar on Thursday, December 19, 2019
एक वीडियो में दिख रहा है कि सदफ एक गेट के अंदर की तरफ खड़ी हैं। सामने पुलिस खड़ी है। वो बार-बार कह रही हैं कि पुलिस पत्थरबाजों को गिरफ्तार नहीं कर रही। वो सवाल कर रही हैं कि जो लोग पत्थरबाजी कर रहे हैं उन्हें पुलिस पकड़ क्यों नहीं रही है, क्यों पुलिस चुपचाप खड़ी है?
सदफ के परिजनों ने पुलिस पर मारपीट का आरोप लगाया है। वहीं, पुलिस ने इन आरोपों से इंकार करते हुए कहा कि पुलिस ने उनके साथ मारपीट नहीं की।
Posted by Sadaf Jafar on Thursday, December 19, 2019
एनडीटीवी की रिपोर्ट के मुताबिक, सदफ से जेल में मुलाकात के बाद उनकी बहन नाहीद ने कहा, ‘मैंने देखा कि उन्हें बहुत दर्द हो रहा था। उन्हें इसलिए दर्द हो रहा था क्योंकि उन्हें लाठी से पीटा गया था, उन्हें पेट पर लातें मारी गईं। उनके खून निकल रहा था।’
यूपी पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी सुरेश चंद्र रावत ने ट्विटर के जरिए सदफ जफर से मारपीट के आरोपों को खारिज किया है। उन्होंने कहा कि उनके पास सदफ के खिलाफ पुख्ता सबूत हैं। वह दंगाइयों के साथ थीं और पुलिस ने उन्हें मौके से गिरफ्तार किया है। हमने प्रोटोकॉल फॉलो किया और उनका मेडिकल कराया।
#CAAProtest के दौरान सदफ़ जफ़र की गिरफ़्तारी के संबंध में पुलिस अधीक्षक पूर्वी @lkopolice का आधिकारिक वक्तव्य: #UPPolice pic.twitter.com/cswcdDH9ns
— UP POLICE (@Uppolice) December 22, 2019
बता दें कि, नागरिकता संशोधन कानून के विरोध में सबसे ज्यादा हिंसक प्रदर्शन उत्तर प्रदेश में देखने को मिले हैं। यहां इन प्रदर्शनों के दौरान 15 से ज्यादा लोगों की मौत हुई है। प्रशासन ने इंटरनेट और ब्रॉडबैंड की सेवाएं स्थगित कर दी हैं। कई शहरों में दफा 144 लागू कर दिया गया है। माहौल तनावपूर्ण है।