केरल लव जिहाद मामला: हादिया बोली- मैं मुस्लिम हूं, अपने पति के साथ जाना चाहती हूं, धर्म परिवर्तन के लिए किसी ने नहीं किया मजबूर

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केरल के कथित लव जिहाद मामले में हादिया उर्फ अखिला ने सुप्रीम कोर्ट के सामने पेशी के लिए रवाना होने से पहले शनिवार (25 नवंबर) को पत्रकारों से बातचीत में कहा कि मैं मुसलमान हूं और किसी ने भी उसे इस्लाम में धर्मांतरण के लिए मजबूर नहीं किया था। वो अपने पति शफीन जहां के पास जाना चाहती है। हादिया शनिवार को केरल के कोच्चि से दिल्ली के लिए रवाना हुई। बता दें कि 30 अक्टूबर को सुप्रीम कोर्ट ने हादिया के पिता अशोकन को हादिया को सुप्रीम कोर्ट में पेश करने का आदेश दिया था। कोच्चि से रवाना होते वक्त हादिया ने मीडिया से कहा कि, ‘मैं एक मुस्लिम हूं, मैं अपने पति के साथ जाना चाहती हूं, किसी ने मुझे धर्म बदलने के लिए दबाव नहीं डाला है।’

बता दें कि इस मामले की सुनवाई सुप्रीम कोर्ट में चल रही है। 30 अक्टूबर को सुप्रीम कोर्ट ने हदिया के पिता को उसे 27 नवंबर को पेश करने का आदेश दिया था। हदिया उर्फ अखिला को 27 नवंबर को सुप्रीम कोर्ट में पेश होकर यह गवाही देनी है कि शफीन जहां के साथ उसकी शादी मर्जी से हुई थी या नहीं।

इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार (22 नवंबर) को उस महिला (अखिला उर्फ़ हदिया) के पिता की याचिका पर तत्काल सुनवाई करने से इनकार कर दिया था, जिसने एक मुस्लिम व्यक्ति शफीन से निकाह करने से पहले इस्लाम कबूल लिया था। याचिका में कहा गया था कि महिला से बातचीत बंद कमरे में की जाए।

गौरतलब है कि शीर्ष न्यायालय ने 30 अक्तूबर को निर्देश दिया था कि महिला को 27 नवंबर को खुली अदालत में बातचीत के लिए पेश किया जाए। सुप्रीम कोर्ट हदिया के पिता की उस याचिका पर सुनवाई कर रहा है जिसमें वो अपनी बेटी की मुस्लिम युवक से शादी का विरोध करते हुए इसे ‘लव जिहाद’ का मामला बता रहे हैं।

क्या है मामला?

बता दें कि केरल हाई कोर्ट ने मुस्लिम युवक के हिंदू युवती के साथ विवाह को लव जिहाद का नमूना बताते हुए इसे अमान्य घोषित कर दिया था। जिसके बाद ये मामला सुप्रीम कोर्ट के सामने आया है। युवक का दावा है कि महिला ने स्पष्ट किया है कि उसने अपनी मर्जी से इस्लाम धर्म कबूल किया है, लेकिन हाई कोर्ट के 24 मई के आदेश के बाद से उसे उसकी मर्जी के खिलाफ पिता के घर में नजरबंद करके रखा गया है।

24 वर्षीय हदिया शेफिन का जन्म केरल के हिंदू परिवार में हुआ था और उसका नाम अखिला अशोकन था। उसने परिवार की इजाजत के बिना मुस्लिम युवक से विवाह किया था। जबकि युवक का कहना है कि यह विवाह आपसी सहमति से हुई थी। फिलहाल मामला सुप्रीम कोर्ट में चल रहा है।

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