चक्रवाती तूफान ‘वरदा’ दोपहर बाद तमिलनाडु की राजधानी चेन्नई के समुद्र तट से टकराया। इस तूफान से तमिलनाडु में 10 लोगों की मौत की ख़बर है। 4 लोग चेन्नई में, 2 कांचीपुरम, 2 तिरुवल्लूर,1 विल्लूपुरम और 1 मौत नागापट्टनम हुई है। सरकार ने मृतकों के परिजनों को 4-4 लाख रुपये देने का ऐलान किया।
जिस समय वरदा चेन्नई के तट से टकराया उस समय हवा की रफ्तार 112 से 130 किमी प्रति घंटे की थी। अभी भी चेन्नई में काफी तेज रफ्तार से हवाएं चल रही हैं। आंध्र प्रदेश में तेज हवाओं के चलते सड़क पर एक तेल टैंकर पलट गया, जिसके चलते सड़क पर पूरा तेल बिखर गया।
तमिलनाडु के मुख्यमंत्री पनीरसेल्वम ने घोषणा की है कि मरने वालों के परिजनों को राज्य आपदा राहत कोष 4 लाख रुपये का मुआवजा दिया जाएगा। ‘वरदा’ के कारण तेज हवाएं चल रही हैं और भारी बारिश हो रही है। तेज हवा से सड़कों के आस-पास लगे पेड़ उखड़ गए हैं। कई गाड़ियां पेड़ों के नीचे दब गई हैं।
आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू ने खाद्य सामग्री का पर्याप्त भंडार बनाए रखने के निर्देश दिए हैं। आपात स्थिति के लिए बिजली के खंभे और सीमेंट भी तैयार रखने को कहा गया है। आंध्र प्रदेश के नेल्लोर से मछिलीपट्नम तटवर्ती प्रान्त पर निगरानी बढ़ा दी गई है।
#WATCH: Trees uprooted, damage caused in parts of Chennai as heavy rains and strong winds lash the city #CycloneVardah pic.twitter.com/ZPQa0CqifU
— ANI (@ANI) December 12, 2016
मीडिया रिर्पोट्स के अनुसार, चेन्नई हवाई अड्डे पर सभी उड़ाने रद्द कर दी गईं। नौसेना के प्रमुख पीआरओ कप्तान डीके शर्मा ने बताया कि चक्रवात वरदा के चलते पेड़ उखड़ने लगे हैं। आपको बता दें कि हवाओं की रफ्तार 100 से 110 किलोमीटर प्रतिघंटा बताई जा रही है। ‘वरदा’ से निपटने के लिए तमिलनाडु और आंध्र प्रदेश में 19 टीमें तैयार हैं। इतना ही नहीं भारतीय वायु सेना को भी हाई अलर्ट जारी किया गया है।
तमिलनाडु ने चार जिलों में सभी शैक्षणिक संस्थानों में छुट्टियों की घोषणा भी कर दी है। आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि बंगाल की खाड़ी से लगे समूचे आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु में अलर्ट जारी कर दिया गया है।
Sullurpeta (Andhra Pradesh): Crude oil tanker overturns due to strong winds & storm #cyclonevardah pic.twitter.com/PIxwhzTVn6
— ANI (@ANI) December 12, 2016
राज्य के मुख्य सचिव (राजस्व प्रशासन) के. सत्यगोपाल के अनुसार, तूफान से 260 पेड़ और 37 बिजली के खंभे गिरे हैं। 224 सड़कें अवरुद्ध हुईं और 24 झोपडि़यां क्षतिग्रस्त हो गईं। हालांकि, एहतियात के तौर पर क्षेत्र के कई हिस्सों में बिजली आपूर्ति को बंद कर दिया गया था। उत्तर चेन्नई, तिरुवल्लूर जिले के पजावेरकादू और कांचीपुरम जिले के ममल्लापुरम के निचले इलाकों में रह रहे करीब 8,000 लोगों को पहले ही सुरक्षित निकालकर 95 राहत शिविरों में पहुंचा दिया गया था।