बॉलीवुड के दिवंगत अभिनेता इरफान खान के बड़े बेटे बाबिल खान ने अपने साथ हो रहे भेदभाव का खुलासा किया है। बाबिल ने बताया कि कैसे उनका धर्म अलग होने की वजह से उन्हें अपने दोस्त खोने पड़े हैं और सोशल मीडिया पर अब वे खुलकर अपनी बात भी नहीं रख सकते हैं। बाबिल खान ने इंस्टाग्राम स्टोरी पर एक के बाद एक करके कई पोस्ट शेयर किए हैं जिसमें वो अपनी धार्मिक पहचान और इसको लेकर फैले उन्माद से काफी व्यथित नजर आ रहे हैं। वो इसके पीछे कारण बताते हैं कि उन्हें मैसेज में अनजान लोग लगातार एंटी नेशनल कह रहे हैं। बाबिल ने कहा कि भारत के अचानक अलग-अलग धर्मों में बंट जाने की वजह से अब वे अपनी बात रखने में डरते हैं। साथ ही उन्होंने कहा कि वो नहीं चाहते लोग उन्हें उनके धर्म के हिसाब से जज करें।
बुधवार शाम को शेयर की एक पोस्ट में बाबिल खान लिखते हैं, “मैं सत्ता में बैठे लोगों के बारे में क्या महसूस करता हूं वो लिख भी नहीं सकता। मेरी पूरी टीम मुझे बताती है कि कैसे ये बात मेरा करियर ख़त्म कर सकती है।” वह आगे लिखते हैं, “क्या आप ये सोच सकते हैं? मैं डरा और सहमा हुआ हूं। मैं फिर से आज़ाद महसूस करना चाहता हूं। मैं ये नहीं चाहता के मेरे धर्म के आधार पर लोग मेरे बारे में धारणा बनाएं। देश की बाक़ी जनता की तरह ही मैं अपना धर्म नहीं हूं, मैं एक इंसान हूं।”
बाबिल अपनी अगली पोस्ट में लिखते हैं, “आप चाहते हैं कि ये कहानी शॉर्ट में बताई जाए वो भी बिना किसी का नाम लिए और करियर ख़त्म होने के डर के बिना बताई।” उन्होने अपनी पोस्ट में आगे लिखा, “शुक्रवार को ईद की छुट्टी कैंसिल कर दी गई है जबकि सोमवार को आने वाले रक्षाबंधन की छुट्टी दी गई है। ठीक है उसमें कोई दिक्कत नहीं, मैन उस दिन ईद मना लूंगा जब ईद नहीं है यानी शनिवार को।”
उन्होंने अपने अगले पोस्ट में लिखा, “मैं जनता हूं कि पूरी दुनिया इस समय उथल-पुथल हो गई है लेकिन हमारे धर्मनिरपेक्ष भारत का अचानक धार्मिकता के हिसाब से बंट जाना सही में डराने वाला है। मेरे दोस्त हैं, जिन्होंने मुझसे बात करना छोड़ दिया है क्योंकि मैं किसी और धर्म का हूं। दोस्त जिनके साथ मैं 12 साल की उम्र में क्रिकेट खेलता था। मैं उन्हें मिस करता हूं। मेरे हिन्दू, मुस्लिम, क्रिस्चियन, सिख, इंसान दोस्त। मैं मिस करता हूं उन दिनों को जब मेरा सरनेम क्या है इस बात से कोई फर्क नहीं पड़ता था।”
बाबिल ने अपनी बात आगे बढ़ाने से पहले इसका भी जिक्र किया कि कैसे लोग उन्हें पाकिस्तानी बुलाएंगे या फिर कहेंगे कि राष्ट्र विरोधी हैं। उन्होंने अपने पोस्ट में आगे लिखा, “जिहादी! तू पाकिस्तान जा ना फिर, यू एंटी नेशनलिस्ट, जैसे कमेंट्स का इंतज़ार कर रहा हूं। सबसे पहली बात बता दूं कि मैं भारत से प्यार करता हूं। मैं ये इसलिए बता रहा हूं क्योंकि मैं अपनी पढ़ाई लंदन में करता हूं और जब भी मैं वहां जाता हूं मुझे अपनी घर वापस आने का इंतजार रहता है। मैं अपने दोस्तों संग रिक्शा में बैठकर घूमने का इंतजार करता हूं, अक्सा बीच पर पानी पूरी खाने का इंतजार करता हूं, कहीं भी घूमने, भीड़भाड़ में जाने का इंतजार करता हूं। मुझे भारत से प्यार हैं। तुम मुझे राष्ट्र-विरोधी बुलाने की हिम्मत भी मत करना। मैं एक बॉक्सर हूं और वादा करता हूं कि अगली बार जब आप ऐसा कहेंगे तो आपकी नाक तोड़ दूंगा।”

बता दें कि, कैंसर की बीमारी के चलते अभिनेता इरफान खान का 29 अप्रैल को मुंबई के कोकिलाबेन अस्पताल में निधन हो गया था। इरफान ने 53 साल की उम्र में ही दुनिया को हमेशा के लिए अलविदा कह दिया। इरफान खान लगभग तीन साल से न्यूरोएंडोक्राइन ट्यूमर नाम की बीमार से जंग लड़ रहे थे। जिसका इलाज करवाने वो लंदन भी गए थे।