लोकसभा चुनाव के पांचवें चरण में सात राज्यों की 51 सीटों पर मतदान सोमवार (5 मई) सुबह शुरू हो गया। इस चरण में उत्तर प्रदेश से 14, राजस्थान से 12, मध्यप्रदेश और पश्चिम बंगाल की सात-सात, बिहार की पांच, झारखंड की चार और जम्मू एवं कश्मीर की दो सीटें (लद्दाख और अनंतनाग) पर मतदान हो रहा है। 51 सीटों पर हो रहे चुनावों में राजनाथ सिंह, सोनिया गांधी, राहुल गांधी और स्मृति ईरानी सहित 674 उम्मीदवारों के भविष्य का फैसला करीब नौ करोड़ मतदाता करेंगे।
सुबह से ही भारी संख्या में लोग मतदान केंद्रों के बाहर लाईन में लगकर अपने मताधिकार का इस्तेमाल कर रहे हैं। हालांकि, उनका उत्साह उक्त थोड़ा उस वक्त फीका पड़ गया जब उन्हें इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीनों (ईवीएम) और वोटर वैरिफायबल पेपर ऑडिट ट्रेल (वीवीपीएटी) में खराबी के चलते काफी देर तक लाईन में खड़े रहकर इंतजार करना पड़ा।ईवीएम के खराब होने के बाद पश्चिम बंगाल, उत्तर प्रदेश और राजस्थान के कई बूथों पर मतदान में देरी हुई।
हिंदुस्तान टाइम्स के मताबिक, पश्चिम बंगाल में हावड़ा के बूथ नंबर 289/ 291/292 पर ईवीएम और वीवीपैट में खराबी के चलते काफी देर तक मतदान शुरू नहीं हो पाया। अखबार के मुताबिक उलुबेरिया निर्वाचन क्षेत्र के श्यामपुर में, बूथ संख्या 179 पर ईवीएम खराब होने की वजह से सुबह 7:30 बजे तक मतदान शुरू नहीं हो सका। वहीं, कथित ईवीएम और वीवीपीएटी गड़बड़ के कारण आरामबाग निर्वाचन क्षेत्र के अंतर्गत तारकेश्वर में बूथ संख्या 256 पर लगभग 50 मिनट तक मतदान नहीं हो सका।
वहीं, अखबार के मुताबिक उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ के मोहनलालगंज निर्वाचन क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले सरसावां में चार में से दो मतदान केंद्रों पर मतदान में देरी हुई, क्योंकि ईवीएम में तकनीकी खराबी की शिकायत आई थी। जबकि कौशाम्बी के महमूदपुर मतदान केंद्र पर दो ईवीएम में खराबी आने की सूचना है। इसके अलावा राजस्थान के दौसा में तीन ईवीएम में आई खराबी की वजह से कुछ मिनटों बाद मतदान शुरू हो पाया, हालांकि बाद में बदल दिया गया।
कांग्रेस और बीजेपी ने जयपुर सहित राजस्थान के कई इलाकों में ईवीएम और वीवीपीएटी के काम नहीं करने की शिकायत की। जबकि बिहार के महुआ विधानसभा और महुआ प्रखंड क्षेत्र के हसनपुर ओस्ती उत्क्रमित मध्य विद्यालय बूथ संख्या 201 पर ईवीएम मशीन खराब होने से लोगों को परेशानी हुई। हालांकि, यहां सूचना पर दूसरी ईवीएम मशीन तो लगाई गई, लेकिन वह भी खराब निकली। मशीन का स्विच काम नहीं करने के चलते वोटरों की लंबी कतार लग गई।
सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) और इसके सहयोगियों के लिए काफी कुछ दांव पर लगा हुआ है, क्योंकि 2014 के चुनावों में इसने इनमें से 40 सीटों पर जीत दर्ज की थी और दो सीटों पर कांग्रेस ने जीत हासिल की थी जबकि शेष पर अन्य विपक्षी दलों ने जीत हासिल की। चुनाव आयोग ने 94 हजार मतदान केंद्रों का निर्माण किया है और सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं। बता दें कि लोकसभा की 542 सीटों के लिए सात चरणों में 11 अप्रैल से 19 मई के बीच चुनाव हो रहे हैं। जबकि मतगणना 23 अप्रैल को होगी।