बिहार के बछवाड़ा क्षेत्र के विधायक और वरिष्ठ कांग्रेसी नेता रामदेव राय का शनिवार (29 अग्सत) को पटना के एक निजी अस्पताल में निधन हो गया। वे करीब 77 साल के थे। उनके निधन से बिहार के राजनीतिक हलकों में शोक की लहर है।
पूर्व मंत्री राय के पुत्र गरीब दास ने बताया कि वह कई दिनों से बीमार थे। उनका इलाज पटना के निजी अस्पताल में चल रहा था। गरीब दास ने बताया कि इनका अंतिम संस्कार रविवार को बेगूसराय के सिमरिया में गंगा तट पर किया जाएगा। राय बछवाड़ा से पहली बार 1972 में विधायक चुने गए थे। इसके बाद उन्होंने अब तक बछवाड़ा का विधानसभा में छह बार नेतृत्व कर चुके हैं। राय एक बार सांसद भी चुने गए थे।
राय के निधन पर बिहार की राजनीति में शोक की लहर है। राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के नेता और पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने अपने ट्वीट में लिखा, “कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और बेगूसराय के बछवाड़ा से विधायक अभिभावक आदरणीय श्री रामदेव राय जी के असामयिक निधन की ख़बर सुन दुखी हूँ। वो 7 बार विधायक और एक बार एमपी रहे। सामाजिक राजनीतिक जीवन में उनकी कमी सदा खलती रहेगी। विनम्र भावपूर्ण श्रद्धांजलि।”
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और बेगूसराय के बछवाड़ा से विधायक अभिभावक आदरणीय श्री रामदेव राय जी के असामयिक निधन की ख़बर सुन दुखी हूँ। वो 7 बार विधायक और एक बार एमपी रहे। सामाजिक राजनीतिक जीवन में उनकी कमी सदा खलती रहेगी। विनम्र भावपूर्ण श्रद्धांजलि।
— Tejashwi Yadav (@yadavtejashwi) August 29, 2020
इधर, कांग्रेस के राज्यसभा सांसद अखिलेश सिंह ने रामदेव राय के निधन पर गहरा शोक प्रकट करते हुए कहा उनकी पहचान क्षेत्र में एक जनसेवक के रूप में थी और जीवन के अंतिम क्षणों तक उन्होंने जनसेवा के लिए काम करते रहे। उनका जाना कांग्रेस के लिए ही नहीं पूरे बिहार की राजनीति के लिए अपूरणीय क्षति है।
कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष मदन मोहन झा ने रामदेव राय को एक गांधीवादी नेता बताते हुए कहा कि उनके निधन से पार्टी और समाज को अपूरणीय क्षति हुई है। इनके अलावा भी कई नेताओं ने शोक संवेदना प्रकट की है।