सर्च इंजन गूगल ने उर्दू के मशहूर शायर, आलोचक और भाषाविद अब्दुल कवी दिसनवी को उनकी 87वीं जयंती पर बुधवार (1 नवंबर) को श्रद्धांजलि देते हुए अपना डूडल उन्हें समर्पित किया है। अपने करियर के 50 वर्षों में हजारों कविताओं के साथ कई किताबें लिखने वाले अब्दुल कवि उर्दू साहित्य के बड़े नामों पर अपने उच्च स्तरीय शोध के लिए पहचाने जाते हैं।बिहार में नालंदा जिले के दिसना गांव में 1930 में जन्मे दिसनवी का निधन सात जुलाई, 2011 को भोपाल में हुआ था। उन्होंने अपना पूरा जीवन भोपाल में ही गुजारा।
अतिथि कलाकार प्रभा माल्या द्वारा डिजाइन किये गए डूडल में दिसनवी काले रंग का बंद गला कोट पहने एक पुस्तकालय जैसी जगह में बैठ कर काम करते हुए दिखी हैं। वहीं पृष्ठभूमि में गूगल को उर्दू स्क्रिप्ट के डिजाइन में लिखा गया है।
करीब पांच दशक तक की अपनी लेखनी में दिसनवी ने गल्प, जीवनी, कविताएं सभी कुछ लिखा है। उनका सबसे लोकप्रिय काम मौलाना आजाद की जीवनी ‘हयात-ए-अबुल कलाम आजाद’ है।
उन्होंने अपनी पढ़ाई मुंबई के सेंट जेवियर्स कॉलेज से की थी। वो भोपाल की मशहूर बर्कतउल्लाह यूनिवर्सिटी के डीन भी रह चुके हैं। 1990 में भोपाल के सैफिया पोस्ट ग्रेजुएट कॉलेज में उर्दू विभाग के प्रमुख के तौर पर सेवानिवृत्त हुए थे।