दिल्ली की अरविंद केजरीवाल सरकार ने राष्ट्रीय राजधानी के निवासियों के हित में एक बड़ा फैसला किया है। अब जीबी पंत अस्पताल में कुल बेड का दिल्ली वालों को 50 फीसदी का आरक्षण मिलेगा।
समाचार एजेंसी ANI की ख़बर के मुताबिक, रिजर्व रखें इन बेड पर दिल्ली के उन नागरिकों का इलाज हो सकेगा जो सरकार के दूसरे अस्पतालों से रेफर कर के जीबी पंत अस्पताल भेजे जाते हैं। शहर के मरीजों को ‘समयबद्ध और सर्वोत्तम उपलब्ध उपचार’ प्रदान करने के लिए निर्णय लेने के लिए लिया गया था।
बता दें कि, जीबी पंत अस्पताल में 714 बेड हैं जिसमें से 357 बेड दिल्लीवालों के लिए आरक्षित होंगे। जीबी पंत अस्पताल दिल्ली सरकार का सुपर स्पेशलिटी अस्पताल है।
वहीं इस फैसले को लेकर दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन का कहना है कि, जब भी अस्पतालों के पास कोई इमर्जेंसी केस आता है तो वे उसे जीबी पंत अस्पताल रेफर कर देते हैं इसलिए वहां मरीजों की भीड़ बढ़ जाती है। इस वजह से दिल्ली के लोगों का सही समय पर इलाज नहीं हो पाता, इसलिए हमने यह फैसला लिया।
When hospitals in Delhi get complicated cases, they refer it to GB Pant hospital. Lately, hospital is witnessing rush of patients due to which Delhi residents don't get time for treatment till 6 months or a year. So we took this decision: Delhi Health Min Satyendra Jain pic.twitter.com/8bgyofhmRW
— ANI (@ANI) December 15, 2017
आपको बता दें कि दिल्ली सरकार जल्द ही ऐसी नीति आने वाली है, जिसमें सड़क पर कोई एक्सीडेंट हुआ, तो पीड़ित के किसी भी प्राइवेट अस्पताल में भर्ती होने पर सारा खर्चा दिल्ली सरकार उठाएगी। दिल्ली सरकार ने एक्सीडेंट विक्टिम पॉलिसी को मंजूरी दे दी है और इसको एलजी के पास मंजूरी के लिए भेजा जाएगा।