हैदराबाद में साइबर कैफे के खिलाफ छापेमारी अभियान में पुलिस ने दर्जनों नाबालिग बच्चों और कैफे मालिकों की धरपकड़ की। इन कैफेज पर बच्चे पॉर्न देखते पाए गए। पुलिस को काफी लंबे वक्त से अभिभावकों की तरफ से शिकायतें मिल रही थीं कि बच्चे स्कूल असाइमेंट करने आदि के बहाने साइबर कैफे में जाकर लम्बा वक्त बिताते हैं।
हैदराबाद में पुलिस 65 किशोरों तथा उनके माता-पिता की एक साथ काउंसिलिंग करेगी, क्योंकि ये किशोर इसी सप्ताह के दौरान अलग-अलग इंटरनेट कैफे में पोर्न फिल्में (अश्लील फिल्में या ब्लू फिल्में) देखते हुए पकड़े गए थे.
मीडिया रिपोट्स के अनुसार, लगातार शिकायत मिलने से पुलिस ने लगभग 100 कैफों की छानबीन की तो पाया कि बच्चे अश्लील साइट को ब्राउज कर रहे थे। पुलिस का कहना है कि उनके पास अभिभावको की शिकायत आई थी उनके किशोर बच्चे इंटरनेट कैफे पर जरूरत से ज्यादा समय बिताते हैं और बहाना बनाते हैं कि उन्हें स्कूल का होमवर्क करने के लिए इंटरनेट तक पहुंच ज़रूरी है जिसके बाद पुलिस ने सप्ताह भर में शहर के अलग अलग साइबर कैफे में छापा मार कर करीब 65 किशोरों को पॉर्न देखते हुए पकड़ा है। इसके अलावा पुलिस के लिए चिंता की बात ये भी है कि बच्चे पॉर्न के अलावा हिंसा से जुड़े वीडियो और साइट देखते रहे हैं
पुलिस ने पकड़े गए इंटरनेट सेंटर मालिकों के खिलाफ 37 केस दर्ज किए हैं। कैफे सेंटर पर सिक्युरिटी कैमरा नहीं लगाने से लेकर नाबालिगों को पॉर्न देखने देने तक के मामले शामिल हैं। इनमें से 16 के खिलाफ आईपीसी की धारा 292 (अश्लील सामग्रियों की बिक्री संबंधी) के तहत केस दर्ज हुआ है।
बाकियों पर आईपीसी की धारा 188 (आदेश की अवहेलना सम्बंधी) लगाई गई है व हैदराबाद सिटी पुलिस एक्ट के तहत इन्हें छह महीने जेल भी भेजा सकता है। पुलिस अन्य साइबर कैफे की तलाश में जुटे हैं जो इन नाबालिगों को अपने यहां पॉर्न दिखा रहे हैं।